Waqf Board vs Sanatan Board: दिल्ली में 16 नंबर को जुटेंगे साधु संत,‘सनातन धर्म संसद’ का होगा आगाज
प्रसिद्ध कथावाचक देवकीनंदन ठाकुर महाराज ने सुझाव दिया है कि जैसे देश में वक्फ बोर्ड है, वैसे ही सनातन धर्म से जुड़े विषयों और धार्मिक संस्थाओं के संरक्षण के लिए "सनातन बोर्ड" का गठन किया जाना चाहिए।
Waqf Board vs Sanatan Board: देश में एक बार फिर सनातन धर्म से जुड़े संतों और धर्मगुरुओं ने एकजुट होकर “सनातन बोर्ड” के गठन की मांग उठाई है। प्रसिद्ध कथावाचक देवकीनंदन ठाकुर महाराज ने सुझाव दिया है कि जैसे देश में वक्फ बोर्ड है, वैसे ही सनातन धर्म से जुड़े विषयों और धार्मिक संस्थाओं के संरक्षण के लिए “सनातन बोर्ड” का गठन किया जाना चाहिए।
देवकीनंदन ठाकुर महाराज ने इसके लिए राजधानी दिल्ली में एक बड़े कार्यक्रम का आयोजन करने की घोषणा की है। इस समागम में देशभर के साधु-संत एकत्र होंगे और एक स्वर में “सनातन बोर्ड” के गठन की आवाज बुलंद करेंगे। इस पहल का उद्देश्य सनातन धर्म की रक्षा करना और सनातन परंपराओं को संरक्षित करना है।
जयपुर में चल रही राम कथा के दौरान भी संत समाज ने इस विचार का समर्थन किया है। संतों का मानना है कि यदि धर्म की रक्षा करनी है, तो ऐसे बोर्ड का गठन समय की मांग है। इसी बीच देश के प्रसिद्ध कवि कुमार विश्वास ने भी इस पहल की सराहना करते हुए कहा कि यद्यपि वे खुद को इस विषय पर बोलने के योग्य नहीं मानते, परन्तु उनका मानना है कि “सनातन बोर्ड” का गठन एक सकारात्मक और सराहनीय कदम होगा।
देवकीनंदन ठाकुर महाराज की इस पहल को सनातन धर्म से जुड़े समाज का व्यापक समर्थन प्राप्त हो रहा है। संत समाज का मानना है कि “सनातन बोर्ड” के माध्यम से धार्मिक मुद्दों पर एक सशक्त और संगठित आवाज उभर सकेगी।