मुंबई: महाराष्ट्र के पूर्व मुख्यमंत्री देवेन्द्र फडणवीस ने बृहस्पतिवार की शाम उस समय बड़ा धमाका किया जब उन्होने कहा कि शिवसेना विधायक आज ही एकनाथ शिंदे मुख्यमंत्री पद की शपथ लेंगे। केवल एकनाथ शिंदे ने शपथ ले रहे हैं, उनके मंत्रिमंड़ल का गठन बाद में किया जाएगा। फडणवीस सरकार में शामिल न होकर बाहर ही रहेंगे, लेकिन सरकार को हर तरह का सहयोग करते रहेंगे।
भाजपा के पूर्व मुख्यमंत्री ने कहा कि भाजपा और उसके 106 विधायकों ने हिन्दुत्व को आगे बढाने और महाराष्ट्र के विकास के लिए महाराष्ट्र में बाला साहैब के सच्चे अनुयायी एकनाथ शिंदे को समर्थन देने का निर्णय लिया है। हमने सत्ता के लिए नहीं, बल्कि हिन्दुत्व के लिए शिंदे को समर्थन दिया।
देवेन्द्र फडणवीस और एकनाथ शिंदे की सयुंक्त प्रेस वार्ता की। देवेन्द्र फडणवीस ने कहा कि 2019 में महाराष्ट्र ने शिवसेना और भाजपा ने मिलकर चुनाव लड़ा था और जनता ने स्पष्ट जनादेश भी दिया था, लेकिन उद्धव ठाकरे ने बाला साहेब का अपमान करते हुए एनसीपी और कांग्रेस के साथ मिलकर सरकार बनायी, जबकि बाला साहेब जीवन भर इन दोनों पार्टियों का विरोध करते रहे थे। फडणवीस ने आरोप लगाया कि उद्धव सरकार के दो मंत्री भ्रष्टाचार के मामले में जेल गये, लेकिन उन्हें मंत्रिमंड़ल से बाहर नहीं किया गया।
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उद्धव ठाकरे ने शिवसेना विधायकों की उपेक्षा की और वे कांग्रेस और राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी के विधायकों और मंत्रियों की बात सुनते थे। एकनाथ शिंदे ने उद्धव ठाकरे से कांग्रेस और एनसीपी का साथ छोड़ने को कहा था, लेकिन उद्धव ने उनकी बात को कोई महत्व नहीं दिया। शिवसेना अपने मूल विचारधारा और सिद्धांतों से दूर होती जा रही थी, इसलिए बाला साहेब के सच्चे अनुयायियों का अलग रास्ता अपनाना पडा।
प्रेस वार्ता को संबोधित करते हुए एकनाथ शिंदे ने कहा कि देवेन्द्र फडणवीस ने उन्हें मुख्यमंत्री बनाने की घोषणा करके बड़ा दिल दिखाया है। उन्होने विश्वास दिलाया कि वे हिन्दुत्व और बाला साहेब की शिवसेना को आगे ले जाने का काम करेंगे। शिंदे गुट के दीपक केसरकर ने कहा कि शिंदे के मुख्यमंत्री बनने से बाला साहेब और उद्धव ठाकरे का सपना पूरा हो रहा है।