नई दिल्ली: कांग्रेस के पूर्व राष्ट्रीय अध्यक्ष राहुल गांधी से नेशनल हेराल्ड से जुड़े मनी लांड्रिंग मामले में ईडी (प्रवर्तन निदेशालय) द्वारा तीन दिन तक तीस घंटे तक हुई पूछताछ के विरोध में होने वाले प्रदर्शन हिंसक होने से कांग्रेस की जमकर किरकिरी हो रही है। कांग्रेस का इरादा था कि वह विरोध प्रदर्शन करके ईडी पर दवाब बनाने में कामयाब हो जाएगी और ईडी पूछताछ से पीछे हट सकती है। लेकिन केन्द्र सरकार के सख्त तेवरों और ईडी के कदम पीछे न हटाते देख कांग्रेस भारी खिसियाहट में है।
इसी बौखलाहट के चलते कांग्रेस ने आह्वान पर ही कार्यकर्ताओं ने देश की राजधानी में 24, अकबर रोड स्थित कांग्रेस मुख्यालय के दफ्तर में जबरन घुसकर वहां मौजूद कांग्रेसियों को बाहर निकालने और कथित मारपीट के विरोध में बृहस्पतिवार को देश भर के राजभवनों पर विरोध प्रदर्शन किया था। कांग्रेस कार्यकर्ताओं ने विभिन्न राज्यों के राजधानी स्थित राजभवनों पर प्रदर्शन भी किया, लेकिन कांग्रेस रणनीतिकारों ने जिस तरह की उम्मीद लगा रखी थी, इस विरोध प्रदर्शन में उसे वैसे सफलता नहीं मिली। कांग्रेस विरोध प्रदर्शन के माध्यम से राज्यों में भी अपनी शक्ति प्रदर्शन करना चाहती थी, लेकिन उसे निराशा ही हाथ लगी।
ये भी पढे़ं- ED के सवालों से Rahul Gandhi परेशान, अब बच निकलना नहीं आसान
कांग्रेस ने दिल्ली में दिल्ली कांग्रेस प्रदेश अध्यक्ष अनिल चौधरी, राजस्थान प्रदेश कांग्रेस प्रदेश अध्यक्ष गोविन्द सिंह डोटासरा ने जयपुर में, भोपाल में मध्य प्रदेश कांग्रेस प्रदेश अध्यक्ष कमलनाथ, यूपी लखनऊ में अजय कुमार लल्लू के नेतृत्व में राजभवनों पर विरोध प्रदर्शन किया। इनके अलावा पंजाब के चंडीगढ में, महाराष्ट्र सहित अन्य राज्यों के राजभवनों पर प्रदर्शन हुए, इसके बावजूद कांग्रेसी अपने मिशन में सफल नहीं हो सकी। पंजाब के चंडीगढ में प्रदर्शनकारियों पर वाटर कैनन तक चलाना पडी। चार दिन तक धरने प्रदर्शन होने के बावजूद कांग्रेस राहुल गांधी की ईडी में चौथे दिन की होने वाली पेशी को रोक नहीं पायी है। राहुल को शुक्रवार को फिर से ईडी से सामने पेश होना ही होगा।