नई दिल्ली: महाराष्ट्र में उद्धव सरकार में सहयोगी दल के रुप में शामिल रही कांग्रेस शिंदे सरकार बनाने के बाद महाष्ट्र में सत्ता से बाहर है। गोवा में बेशक भाजपा की सरकार होने से कांग्रेस मुख्य विपक्षी दल है, लेकिन अब भाजपा के कांग्रेस विधायकों में सेंध लगाने से भाजपा कांग्रेस को बड़ा झटका देने जा रही है।
भाजपा के सूत्रों का दावा है कि कांग्रेस के 10 विधायकों में से कम से कम 8 विधायक बहुत जल्द भाजपा में शामिल हो सकते हैं। पांच विधायकों का भाजपा में शामिल होना तय है,लेकिन दल बदल कानून से बचने के लिए भाजपा चाहती है कि वह कांग्रेस के आठ विधायकों को अपनी पार्टी की सदस्यता दिला दे।
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भाजपा में जिन पांच विधायकों का शामिल होना तय है, उनमें पूर्व मुख्यमंत्री दिगम्बर कामत और नेता प्रतिपक्ष मायरल लोबो भी शामिल हैं। गोवा के इन दोनों दिग्गज कांग्रेस नेताओं के पार्टी छोड़ने से कांग्रेस नेतृत्व काफी निराश है। कांग्रेस राष्ट्रीय नेतृत्व का संकेत पाकर कांग्रेस ने नेता प्रतिपक्ष मायरल लौबो को उनके पद से हटा दिया है। कांग्रेस का दावा है कि वह नये नेता का चुनाव जल्द करेगी, लेकिन यदि 8 कांग्रेस विधायक भाजपाई हो गये तो गोवा विधान सभा में नेता प्रतिपक्ष कोई नहीं हो सकेगा।
बता दें कि गोवा विधानसभा में मात्र 40 विधायक हैं। इनमें वर्तमान में 20 भाजपा, 10 कांग्रेस, 2 महाराष्ट्र गोमांतक पार्टी और 3 निर्दलीय हैं। यदि कांग्रेस के 8 विधायक भाजपा में आ जाते हैं तो फिर गोवा के किसी भी दल के विधायकों की संख्या इतनी नहीं होगी, जो नेता प्रतिपक्ष बन सके। नेता प्रतिपक्ष वाले दल के कम से कम 10 विधायकों का विधान सभा में होना आवश्यक होता है। इसलिए कांग्रेस न केवल विधायकों को गंवा रही है, बल्कि भाजपा ने उससे नेता प्रतिपक्ष का पद भी छीन लिया है।