Hindi Diwas: क्यों मनाया जाता है हिंदी दिवस? जानें इससे जुड़ी खास और महत्वपूर्ण बातें!
नई दिल्ली: आज 14 सितंबर को भारत में हिंदी दिवस (Hindi Diwas) के रूप में मनाया जाता है। हिंदी हमारे दिल की भाषा है, जो कश्मीर से लेकर कन्याकुमारी, संसद से लेकर सड़को और साहित्य से लेकर सिनेमा तक हर जगह संवाद का सबसे बड़ा पुल बनकर सामने आती है। 14 सितंबर 1949 को संविधान सभा ने निर्णय लिया गया था कि भारत की राज भाषा हिंदी होगी। इस निर्णय को महत्व देने के लिए और हिंदी के उपयोग को प्रचलित करने के लिए सा 1953 के बाद से हर साल 14 सितंबर को हिंदी दिवस(Hindi Diwas) के रुप में मनाया जाता है। हिंदी का गौरव आज पूरी दुनिया में बढ़ रहा है। हिंदी का शौक आज दुनिया में हर तरफ फैल रहा है।
तो जानते हैं हिंदी दिवस (Hindi Diwas) के बारे में कुछ अहम बातें:
भारत में सबसे ज्यादा बोली जाने वाली भाषा हिंदी है, देश के 70% लोग हिंदी बोलते व समझते हैं। हिंदी भारत के कई राज्यों में बोली व समझी जाती है।
हिंदी भाषा के बारे में एक अच्छी बात यह है कि आप किसी शब्द को बिल्कुल ऐसे ही लिखेंगे जिस तरह बोलते हैं। देश में हर 5 मे से एक व्यक्ति इंटरनेट को हिंदी में चलाना पसंद करता है।
हिंदी मूलतः फारसी भाषा का शब्द है और हिंदी के देवनागरी लिपि में कुल 52 वर्ण होते हैं।
हिंदी की पहली कविता प्रख्यात कवि अमीर खुसरो ने लिखी थी। हिंदी भाषा के इतिहास साहित्य की रचना ग्रासिनद तैसी, फ्रांसीसी लेखक ने की थी।
हिंदी के विकास में साधु-संत, धार्मिक नेताओ, हिंदी पत्रिकाओ, स्वतंत्रता संग्राम से बहुत मदत मिली साथ ही फिल्मों ने भी काफी मदद की।
अवधी, ब्रज, कन्नौजी, बुंदेली, बघेली, भोजपुरी, हरियाणवी, राजस्थानी, छत्तीसगढ़ी, मालवी, झारखंडी, कुमाऊनी, मगही आदि हिंदी की प्रमुख बोलियां है।
नमस्ते शब्द हिंदी भाषा में सबसे ज्यादा प्रयोग किया जाने वाला शब्द है।
सन् 2000 में हिंदी का पहला वेब पोर्टल अस्तित्व में आया था तभी से इंटरनेट पर हिंदी छाप छोड़ने लगी।
दुनियाभर के 50 से ज्यादा विश्व विद्यालयों में हिंदी पढ़ाई जाती है। हिंदी 2001 में 42 करोड़ 60 लाख लोगों की मातृभाषा थी।
भारत के अलावा हिंदी फिजी, मॉरीशस, गुयाना, सूरीनाम, नेपाल, पाकिस्तान की भी जनता हिंदी बोलती है साथ ही संयुक्त राज्य अमेरिका, दक्षिण अफ्रीका, यमन, युगांडा, सिंगापुर, न्यूजीलैंड, जर्मनी जैसे देशों में भी हिंदी बोली जाती है।
हिंदी राष्ट्रभाषा, राजभाषा, संपर्क भाषा, जनभाषा के स्तर को पार कर विश्वभाषा बनने की ओर अग्रसर है। हिंदी भाषा का इतिहास लगभग 1000 वर्ष पुराना माना जाता है।
हिंदी की पहली रचना पृथ्वीराज रासो के रूप में चंद्र बरदाई ने की। हिंदी का पहला उपन्यास परीक्षा गुरु है जिसे लाला श्रीनिवास दास में लिखा। गोपाल चंद्र का नहुष हिंदी का पहला मौलिक नाटक है।
हिंदी दुनिया में सर्वाधिक तीव्रता से प्रसारित होने वाली भाषा है। हिंदी का पहला अखबार उदंत मार्त्तण्ड 30 मई 1826 को पंडित जुगलकिशोर शुक्ल के संपादन में निकला।
इलाहाबाद हाई कोर्ट के न्यायमूर्ति स्व प्रेम शंकर गुप्त हिंदी में निर्णय लेने वाले पहले न्यायाधीश है।
1930 में हिंदी का पहला टाइपराइटर अस्तित्व में आया। हिंदी का पहला अखबार उदंत मार्त्तण्ड 30 मई 1826 को पंडित जुगलकिशोर शुक्ल के संपादन में निकला।
पहला राष्ट्रीय हिंदी संग्रहालय आगरा में स्थापित करने की योजना है।
चीनी भाषा के बाद हिंदी विश्व में सर्वाधिक मातृभाषा वाली भाषा है।