राजनीति

Modi 3.0: शिवराज सिंह चौहान को मिलेगा बड़ा इनाम मोदी 3.0 सरकार में मिलेगा गृहमंत्री का पद

Modi 3.0: 9 जून यानि सोमवार को नरेंद्र मोदी (narendra modi) सरकार का शपथ ग्रहण लेगी। सहयोगी दलों तेलुगु देशम, जनता दल यू और एलजेपी के साथ मंत्रालयों के बंटवारे पर चर्चा चल रही है।इसके अलावा BJP के अनुभवी नेताओं को बड़ी जिम्मेदारी देने की चर्चा है।माना जा रहा है कि सरकार के कोर मंत्रालयों में फेरबदल होगा। वित्त और गृह मंत्रालय में नए चेहरे देखे जा सकते हैं। गृह मंत्री के तौर पर शिवराज सिंह चौहान का नाम सबसे ऊपर है।

विदिशा में मिली बड़ी जीत के बाद शिवराज सिंह चौहान दिल्ली (delhi) आएंगे। 9 जून को वे नई सरकार में कैबिनेट मंत्री के तौर पर शपथ लेंगे। शिवराज सिंह चौहान ने न सिर्फ़ 8 लाख से ज़्यादा वोटों से जीत हासिल की, बल्कि मध्य प्रदेश की 29 लोकसभा सीटों पर भी उनका खासा असर रहा। दिल्ली चुनाव प्रचार के दौरान उनका स्ट्राइक रेट बहुत बढ़िया रहा। इस भारी जीत के इनाम के तौर पर शिवराज को केंद्र सरकार में अहम पद मिल सकता है। खुद प्रधानमंत्री मोदी ने चुनाव प्रचार के दौरान यह बात कही थी। नरेंद्र मोदी सरकार के कोर ग्रुप में शामिल होने की उनकी संभावना बढ़ गई है। ऐसी अफवाहें हैं कि शिवराज सिंह चौहान को गृह मंत्रालय मिलेगा और अमित शाह अब भाजपा का नेतृत्व करेंगे। राजनाथ सिंह गृह मंत्रालय के लिए एक और उम्मीदवार हैं।

अमित शाह जाएंगे संगठन मजबूत करने, बनेंगे बीजेपी के राष्ट्रीय अध्यक्ष

केंद्र में बहुमत न होने के कारण नरेंद्र मोदी पहली बार गठबंधन सरकार का नेतृत्व करने जा रहे हैं। उन्हें अपनी कोर टीम और महत्वपूर्ण मंत्रालयों में भरोसेमंद अनुभवी नेताओं की जरूरत है। पिछली सरकार में उन्होंने गृह मंत्रालय अमित शाह को दिया था। यूपी में करारी हार के बाद जानकारी है कि अमित शाह को वापस संगठन में भेजा जाएगा। इस बदलाव के बाद शिवराज सिंह चौहान ही ऐसे नेता हैं जो उनकी कमी को पूरा कर सकते हैं। पिछली सरकार में मध्य प्रदेश से दो कैबिनेट मंत्री थे। ज्योतिरादित्य सिंधिया को नागरिक उड्डयन मंत्री बनाया गया, जबकि नरेंद्र सिंह तोमर ने कृषि मंत्री का पदभार संभाला। मोदी 3.0 में यह विभाग सहयोगी दलों को हस्तांतरित किए जाने का अनुमान है। हालांकि शिवराज की छवि एक सख्त प्रशासक की नहीं थी, लेकिन उन्होंने मुख्यमंत्री के रूप में अपने कार्यकाल के अंत में योगी के दृष्टिकोण को अपनाया। राजनाथ सिंह अब गृह मंत्रालय के लिए सुलभ हैं, जो पहले इस विभाग के प्रभारी थे। यह संभव है कि शिवराज पद छोड़कर गृह मंत्री बन जाएं, लेकिन भारत को एक सक्षम रक्षा मंत्री की जरूरत है।

CM पद से हटते ही जुट गए थे mission-29 में, फिर बने भरोसेमंद

मध्य प्रदेश विधानसभा चुनाव के नतीजे आने के बाद ऐसी अफवाहें उड़ीं कि अठारह साल से लगातार मुख्यमंत्री रहे शिवराज सिंह चौहान केंद्र में जाने की योजना बना रहे हैं। यह तय हो गया कि डॉ. मोहन यादव मुख्यमंत्री बनने के बाद दिल्ली जाएंगे। राज्य की सत्ता में बदलाव से शिवराज थोड़े दुखी दिखे, लेकिन वे जल्दी ही अपने नए पद के लिए तैयार हो गए। दूसरी ओर, वसुंधरा राजे इस बात से नाराज थीं कि उन्हें राजस्थान का मुख्यमंत्री पद गंवाना पड़ा।

शिवराज न केवल लोकसभा चुनाव (loksabha election) में बतौर उम्मीदवार उतरे, बल्कि उन्होंने राज्य में मिशन-29 के लिए भी पूरी तरह कमर कस ली। उन्होंने अपने तरीके से पार्टी प्रत्याशियों के लिए समर्थन जुटाया। लोकसभा चुनाव (loksabha election) के नतीजों ने भी उनके चाचा जैसे व्यक्तित्व और नीतियों का असर दिखाया। लगातार तीसरी बार भाजपा विजयी हुई और पहली बार सभी 29 सीटों पर जीत दर्ज की। हालांकि, राजस्थान में गुटबाजी और असंतोष के कारण भाजपा दस कदम पीछे चली गई। इस तरह से शिवराज सिंह चौहान बहुत कम समय में पीएम मोदी (PM modi) के भरोसेमंद सिपहसालार बन गए।

Written By । Prachi Chaudhary । Nationa Desk । Delhi

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