योगी सरकार के दावों को पलीता लगा रहे अधिकारी, पिछले 2 साल से इंसाफ के लिए दर-दर की ठोकर खा रहा गरीब परिवार!
Saharanpur News:बेटी पढ़ाओ, बेटी बचाओ के दावे तो सरकार करती है, साथ ही महिला सुरक्षा और महिलाओ शक्ति करण को लेकर अभियान भी चला रही है, लेकिन इन सब के बावजूद भी गरीब परिवार से तालुक रखने वाले एक परिवार दो सालों से अपनी नबालिक लड़की को लेकर थाने और अधिकारियो के दो सालो से चक्कर काट रहे हैं पर कही भी इस परिवार की कोई सुनने वाला नहीं है
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आपको बता दें कि ये पूरा मामला सहारनपुर के थाना फतहेपुर के छुटमलपुर का है, जहां एक गरीब परिवार रहता था जहां उसके रिश्तेदारों ने उनकी नाबालिक युवती से बारी बारी से रेप की घटना को अंजाम दिया है। अब युवती और उसके परिवार को पुलिस से शिकायत करना भारी पड़ गया, जहां पीड़ित के परिजनों को नाबालिक छात्र को जान से मारने की धमकी भी मिल रही है। परिजनों ने अपनी बेटी और परिवार की जान माल की सुरक्षा के लिए घर से पलायन कर सहारनपुर शहर मे रहने को मजबूर है।
रेप पीडिता के परिजनों ने बताया की उसकी बेटी के साथ रिश्तेदारो ने नशीला पदार्थ देकर नाबालिक छात्र से बारी बारी से रेप की घटना को अंजाम दिया। परिजनों ने बताया कि रिश्तेदार पैसे वाले लोग हैं हम लोग गरीब है नाबालिक की मां बीमार रहती है, उसके साथ भी रेप की घटना को अंजाम दिया है रेप पीड़िता के परिजनों में बताया कि थाना फतेहपुर पुलिस रिपोर्ट दर्ज करने गए थे पर हमारी रिपोर्ट भी दर्ज नहीं की गई। 2 सालों से अधिकारियों के चक्कर लगा रहे हैं अधिकारी तो रिपोर्ट लेकर रख लेते हैं पर तो आगे कोई कार्रवाई नहीं होती।
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पीड़िता के परिजनों ने बताया कि थाना फतेहपुर थाने जाते हैं, वहां पर दो पुलिसकर्मी भी नाबालिक छात्रा और उसकी मां से अश्लील बातें करते हैं। और वहां से उन्हें बिठाकर वापस भेज दिया जाता है। 2 सालों से थाने से लेकर अधिकारियों के चक्कर लगा चुके हैं पर कहीं भी उनकी सुनवाई नहीं हो रही है। थाना फतेहपुर पुलिस थाना प्रभारी रसूखदार लोगों से मिलकर अब हमारे मामले को मकान से जोड़कर बता रहे हैं कि तुम्हारा मामला सिर्फ मकान के लेनदेन को लेकर है। बता दें कि पीड़ितों का आरोप है कि रसूख दार लोगों ने वहां पर पैसे दिए हैं और हम लोग गरीब है हमारी कहीं भी सुनाई नहीं हो रही है अगर हमारी सुनवाई नहीं हुई तो अब हम लोग आत्मदाह करने से ही पीछे नहीं हटेंगे। जिसका जिम्मेदार पुलिस प्रशाशन होगा। हमारी बेटी की की पढ़ाई भी बीच में छूट गई है, बेटी को लेकर दर दर भटक रहे हैं पर कोई कहीं कोई सुनने वाला नहीं है हमने अपना घर भी छोड़ दिया।