Delhi crime News: एक मुठभेड़ में लॉरेंस बिश्नोई हाशिम बाबा गैंग के शूटर योगेश उर्फ राजू को हिरासत में लिया गया। मथुरा पुलिस और दिल्ली पुलिस की स्पेशल सेल ने मिलकर इस कामयाबी को हासिल किया। मुठभेड़ में योगेश के पैर में गोली लगी है। .32 बोर की पिस्तौल, जिंदा कारतूस और मोटरसाइकिल जब्त की गई।
दिल्ली पुलिस की स्पेशल सेल और मथुरा पुलिस ने मिलकर आज सुबह लॉरेंस बिश्नोई गिरोह के एक शार्प शूटर को मुठभेड़ के बाद गिरफ्तार कर लिया। यह मुठभेड़ हाशिम बाबा गैंग के शार्प शूटर के साथ हुई। गिरफ्तार शूटर का नाम योगेश उर्फ राजू है, जिसके पैर में गोली लगी है। योगेश दिल्ली के ग्रेटर कैलाश में हुए नादिर शाह हत्याकांड का मुख्य आरोपी है। मुठभेड़ के दौरान दोनों तरफ से पाँच राउंड फायरिंग हुई। पुलिस ने मौके से एक .32 बोर की पिस्तौल, सात जिंदा कारतूस और एक मोटरसाइकिल बरामद की है।
वारदात के बाद से योगेश लगातार अपना ठिकाना बदल रहा था। वह रातों-रात शहर बदल रहा था, जिससे अधिकारियों के लिए उसे पकड़ना मुश्किल हो रहा था।लेकिन स्पेशल सेल लगातार उसका पीछा कर रही थी और आखिरकार उसे धर दबोचा।
इस दिन हुई थी नादिर शाह की हत्या
12 सितंबर को नादिर शाह की गोली मारकर हत्या कर दी गई। पुलिस इस मामले की कई दृष्टिकोणों से जांच कर रही है। दुबई में रह रहे अनूप कुमार जुनेजा भी जांच के दायरे में हैं और स्पेशल सेल उनसे पूछताछ करना चाहती है। दरअसल, नादिर ने 2022 में केंद्र सरकार, दिल्ली सरकार और पुलिस कमिश्नर को पत्र लिखकर जुनेजा पर जान से मारने की धमकी देने का आरोप लगाया था।
नादिर शाह को मिली थी जान से मारने की धमकी
नादिर ने अपने पत्र में जो लिखा है उसके अनुसार जुनेजा कालकाजी थाने का बीसी (Bad character) है और मकोका मामलों में शामिल है। उसे दिल्ली पुलिस ने गलत तरीके से सुरक्षा दी थी। उन्होंने एक पूर्व स्पेशल सीपी पर भी अपने स्टाफ के पुलिसकर्मी को जुनेजा की सुरक्षा में लगाने का आरोप लगाया था। नादिर ने आरोप लगाया था कि जुनेजा, पुलिस से मिले पीएसओ और कुछ बदमाशों के साथ मिलकर उसे धमकाता है।
नादिर ने कहा कि जुनेजा उन्हें जान से मारने की धमकी देने के लिए कई व्हाट्सएप नंबरों का इस्तेमाल करता है। नादिर ने अपने पत्र के साथ अनूप पर लगे मकोका समेत 57 मुकदमों की लिस्ट भी भेजी थी। बता दें कि जुनेजा ने 2016 में हाई कोर्ट (high court) में पुलिस सुरक्षा की मांग को लेकर याचिका दायर की थी। हाई कोर्ट (High court) में पुलिस कमिश्नर (police commisioner) को दी गई अर्जी में लगी मुहर फर्जी पाई गई थी। SI सतेंद्र मोहन के बयान पर 22 अप्रैल 2016 को स्पेशल सेल (special sale) ने जुनेजा के खिलाफ जालसाजी समेत कई धाराओं में केस दर्ज किया था।