काजी माहौल पर नई बहस को जन्म दिया है। अर्न्स्ट एंड यंग इंडिया (EY) में काम कर रहीं अन्ना की मां ने आरोप लगाया है कि उनकी बेटी की जान अत्यधिक काम के तनाव के कारण गई है। इस मामले के सामने आने के बाद केंद्र सरकार ने इसकी जांच के आदेश दिए हैं।
माता का आरोप
अन्ना की मां, अनीता ऑगस्टीन, ने बताया कि उनकी बेटी ने EY में शामिल होने के केवल चार महीने बाद ही अपनी जान गंवा दी। उन्होंने एक पत्र में कंपनी के नेतृत्व से आग्रह किया कि वे एक ऐसे वर्क कल्चर को बदलें जो अधिक काम को महिमामंडित करता है और कर्मचारियों की भलाई को नजरअंदाज करता है। अनीता ने कहा, “मेरा दिल भारी है, लेकिन हमारी कहानी साझा करना जरूरी है ताकि कोई और परिवार इस पीड़ा से न गुजरे।”
स्वास्थ्य समस्याएं
अन्ना की मां ने बताया कि अन्ना अपनी नौकरी के दौरान लगातार थकावट महसूस कर रही थीं। उन्होंने कहा कि अन्ना रात के एक बजे तक काम कर रही थीं, जिससे उनकी सेहत पर बुरा प्रभाव पड़ा। 6 जुलाई को परिवार ने अन्ना को अस्पताल ले जाया था, जहां डॉक्टरों ने उसे पर्याप्त नींद न लेने की सलाह दी थी। इसके बावजूद, अन्ना ने काम जारी रखा।
केंद्रीय श्रम मंत्रालय की प्रतिक्रिया
केंद्रीय श्रम राज्य मंत्री शोभा करंदलाजे ने इस मामले पर दुख प्रकट करते हुए कहा कि कामकाजी माहौल के असुरक्षित और शोषणकारी होने के आरोपों की गंभीरता से जांच की जाएगी। भाजपा नेता राजीव चंद्रशेखर ने भी इस मामले की जांच की मांग की है और इसे “दुखद और परेशान करने वाला” बताया है।
अर्न्स्ट एंड यंग इंडिया का बयान
अर्न्स्ट एंड यंग इंडिया ने अपनी प्रतिक्रिया में कहा कि कंपनी अन्ना की मौत से दुखी है और उन्होंने परिवार के पत्र को गंभीरता से लिया है। कंपनी ने यह भी कहा कि वे सभी कर्मचारियों के कल्याण को प्राथमिकता देते हैं और बेहतर कार्यस्थल उपलब्ध कराने के लिए प्रयासरत रहेंगे।