Ramcharit Controversy:रामायण चर्चा अथवा बहस का नहीं,शिक्षा का विषय हैः देवकी नंदन ठाकुर जी
सपा मुखिया अखिलेश यादव के रामचरित मानस के बारे में हिन्दू विरोधी बयान संबंधी पूछे सवाल पर देवकी नंदन ठाकुर जी महाराज ने कहा कि अखिलेश यादव भले ही कुछ भी समझें, वे उन्हें केवल सनातनी समझते हैं। देवकी नंदन जी ने कहा कि यदि कहीं उन्हें अखिलेश यादव मिलते हैं, तो वे उनके सनानती होने के नाते वे उनका स्वागत करते हुए गले से लगा लेंगे।
लखनऊ। प्रख्यात कथा वाचक देवकी नंदन ठाकुर जी महाराज ने कहा कि शनिवार को रामचरित मानस विवाद पर अपने विचार रखे। उन्होंने कहा कि रामचरित्र मानस पर किसी ने उन्हें चर्चा व बहस के लिए आमंत्रित किया। ठाकुर जी महाराज ने कहा कि रामायण चर्चा अथवा बहस का न होकर शिक्षा का विषय है।
देवकी नंदन ठाकुर जी महाराज रामलीला मैदान में पत्रकारों से बात कर रहे थे। उन्होंने कहा कि कुछ राजनेता शुद्र शब्द पर राजनीति कर रहे हैं। उनका कहना था कि शुद्र का किसी जाति-धर्म से कोई नाता नहीं है। शुद्र शब्द को परिभाषित करते हुए कहा कि जिन लोगों के विचार शुद्ध नहीं होते, वे ही शुद्र होते हैं।
उन्होंने कहा कि सनातन में जाति का महत्व न होकर केवल हिन्दू होना गौरव होता है।उन्होंने कहा कि उनका मकसद सनातनियों को आपस में तोड़ना ही नहीं, बल्कि सबको साथ में लेकर चलना है।
यह भी पढेः Life Time Prisoner released: बेटियों की शादी के लिए जेल से रिहा हुआ उम्रकैद सजायाफ्ता पिता
ठाकुर जी महाराज ने कहा कि वे रामचरित मानस पर विवाद पैदा करने वालों में सुलढ कराने का प्रयास करेंगें। वे भटके हुए सनातनियों को एकजुट होने के पक्षधर हैं। इसलिए वे सनातनों के एकता में विश्वास रखते हैं, उनके बीच दूरियां पैदा नहीं होनी चाहिए।
देवकी नंदन ठाकुर जी महाराज जी का कहना है कि जिस शुद्र शब्द को लेकर राजनीति हो रही है, वह गलत है। रामायण में सभी को सम्मान दिया है। इसका उदाहरण देते हुए उन्होंने कहा कि भगवान राम ने साबरी को मां कहा था।
श्रीराम निषाद राज को अपना सच्चा मित्र माना। यहां तक राज्याभिषेक में निषाद राजा को विशेष अतिथि को दर्जा दिया गया। इसलिए शुद्र शब्द रामचरित्र मानस की पवित्रता पर सवाल नहीं उठाया जाना चाहिए।