नई दिल्ली: भारत की सशस्त्र सेनाओं में आमूल-चूल परिवर्तन लाने के लिए मोदी सरकार की कैबिनेट में अग्निपथ योजना को मंजूरी दे दी है। इस संबंध में रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने प्रेस वार्ता में यह जानकारी दी। इस अवसर पर उनके साथ सेना प्रमुख जनरल मनोज पांडे, और नौसेना प्रमुख आर. हरि कुमार भी मौजूद थे।
रक्षामंत्री श्री सिंह ने बताया कि योजना के तहत देश के युवा अग्निवीर बनकर थल सेना, वायु सेना और नौसेना में चार साल तक सेवाएं दे सकेंगे, जबकि 25 फीसदी अग्निवीर संबंधिन सेना में स्थायी नौकरी भी पा सकते हैं। चार साल की सेवा के दौरान लाखों रुपये के वार्षिक पैकेज मिलने के साथ ही सेवा समाप्ति पर सेवा निधि के रुप में 11.71 लाख रुपये की राशि मिलेगी, जिससे अग्निवीर दूसरी सेवाओं में जा सकते हैं अथवा सेवा निधि की रकम से स्वयं का व्यवसाय कर सकते हैं।
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लेफ्टिनेट जनरल अनिल पुरी का कहना है कि भारत की तीनों सेनाओं में चार साल के लिए होने वाली भर्ती में शामिल होने के लिए आयु सीमा 17 साल से 21 साल होगी। इनका वेतन 30 से 40 हजार मासिक होगा। पुरी का कहना है कि यह भर्ती अगले तीन माह के अंदर शुरु कर दी जाएगी। इन अग्निवीरों का प्रशिक्षण कम से कम ढाई माह और अधिकतम छह माह होगा। इनका पहले सालों में 4.76 लाख को वार्षिक पैकेज मिलेगा, जबकि अंतिम वर्ष 6.92 लाख का पैकेज मिलेगा। चार साल की सेवाओं के सेवा निधि के रुप में 11.71 लाख रुपये की राशि मिलेगी। सेवा में रहने के दौरान 46 से 48 लाख रुपये का नान-प्रीमियम इंश्योरेंस होगा।