Former PM Manmohan Singh: मनमोहन के अंतिम संस्कार और स्मारक पर क्या विवाद है?
केंद्र सरकार ने कहा है कि वह मनमोहन सिंह का स्मारक बनाएगी। इसके लिए उसे 3-4 दिन चाहिए। दिल्ली में उनके कद के हिसाब से उनका स्मारक बनाया जाएगा। जगह तय की जाएगी। कांग्रेस ने मांग की थी कि मनमोहन सिंह का अंतिम संस्कार राजघाट के पास किया जाए और वहीं उनका अंतिम संस्कार किया जाए लेकिन ऐसा नहीं हुआ। मनमोहन सिंह का अंतिम संस्कार नई दिल्ली के निगमबोध घाट पर किया जाएगा।
Former PM Manmohan Singh: पूर्व प्रधानमंत्री डॉ. मनमोहन सिंह का 26 दिसंबर को निधन हो गया था। उनका अंतिम संस्कार आज यानी शनिवार को नई दिल्ली के निगमबोध घाट पर किया जाएगा। सुबह 11:45 बजे राजकीय सम्मान के साथ उन्हें अंतिम विदाई दी जाएगी। लेकिन इससे पहले उनके अंतिम संस्कार और समाधि स्थल को लेकर विवाद खड़ा हो गया है। कांग्रेस चाहती है कि मनमोहन सिंह का अंतिम संस्कार राजघाट के पास ही किया जाए और वहीं उनका स्मारक भी बनाया जाए। इसके लिए कांग्रेस अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खड़गे ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को पत्र लिखा था।
पीएम मोदी को लिखे पत्र में खड़गे ने कहा था कि पूर्व प्रधानमंत्री मनमोहन सिंह का अंतिम संस्कार ऐसी जगह पर किया जाना चाहिए, जहां उनका स्मारक बनाया जा सके। लेकिन केंद्र सरकार ने कहा कि मनमोहन सिंह का अंतिम संस्कार निगम बोध घाट पर किया जाएगा और केंद्र सरकार मनमोहन सिंह का स्मारक बनाएगी। उनका स्मारक कहां बनेगा, इस पर अगले 3-4 दिनों में फैसला हो जाएगा।
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सिख समुदाय से आने वाले एकमात्र प्रधानमंत्री का अपमान- कांग्रेस
इस पर कांग्रेस ने केंद्र सरकार पर आरोप लगाया कि पूर्व प्रधानमंत्री मनमोहन सिंह के अंतिम संस्कार और स्मारक के लिए जगह न ढूंढ पाना भारत के पहले सिख प्रधानमंत्री का जानबूझकर किया गया अपमान है। कांग्रेस का कहना है कि पूर्व पीएम और पूर्व डिप्टी पीएम की तर्ज पर मनमोहन सिंह का अंतिम संस्कार राजघाट के पास राष्ट्रीय स्मारक पर क्यों नहीं करने दिया जा रहा है?
अमित शाह ने परिवार को दी जानकारी
दरअसल, कल यानी शुक्रवार को केंद्रीय कैबिनेट की बैठक हुई थी। इस बैठक में दो मिनट का मौन रखकर मनमोहन सिंह को श्रद्धांजलि दी गई और शोक प्रस्ताव पारित किया गया। सूत्रों के मुताबिक इस बैठक के बाद केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह ने खुद मनमोहन सिंह के परिवार को स्मारक स्थल के निर्माण की जानकारी दी। शाह ने कहा कि स्मारक स्थल के लिए सरकार को 3-4 दिन का समय चाहिए, जहां उनके (मनमोहन सिंह के) कद के हिसाब से उनका स्मारक स्थल बनाया जा सके। स्मारक को लेकर परिवार ने सरकार से सहमति जताई।
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प्रियंका गांधी ने केंद्र सरकार को दिया ये सुझाव
कांग्रेस सूत्रों के मुताबिक प्रियंका गांधी ने मनमोहन सिंह के अंतिम संस्कार और उनके स्मारक स्थल को लेकर भी केंद्र सरकार को सुझाव दिया था। प्रियंका ने कहा था कि उनका अंतिम संस्कार वीर भूमि (राजीव गांधी समाधि स्थल) और शक्ति स्थल (इंदिरा गांधी समाधि स्थल) के पास किया जाना चाहिए और वहीं पर अटल जी की तरह स्मारक बनाया जाना चाहिए। सरकार को निगमबोध घाट का फैसला वापस लेना चाहिए। लेकिन केंद्र सरकार देश के पहले सिख पीएम मनमोहन सिंह का निगमबोध घाट पर अंतिम संस्कार करने का ऐलान कर उनका अपमान कर रही है।
मोदी सरकार के फैसले से सिख समुदाय आहत- सप्पल
कांग्रेस नेता गुरदीप सिंह सप्पल ने अंतिम संस्कार और स्मारक स्थल को लेकर उठे विवाद पर केंद्र सरकार पर हमला बोला। उन्होंने कहा कि बड़ी-बड़ी प्रतिमाओं और बड़े-बड़े आयोजनों को अपनी शान समझने वाली मोदी सरकार ने डॉ. मनमोहन सिंह के कद और देश के प्रति उनकी सेवा के अनुरूप उनके अंतिम संस्कार के लिए जगह तक मुहैया नहीं कराई। अब उनका अंतिम संस्कार निगम बोध घाट पर होगा। परंपरा है कि पूर्व प्रधानमंत्रियों की समाधि उसी स्थान पर बनाई जाती है, जहां उनका अंतिम संस्कार हुआ हो। आखिरी समाधि अटल बिहारी वाजपेयी जी की है, जो राजघाट इलाके में बनी है।
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सप्पल ने आगे कहा कि यह परंपरा केवल तब नहीं निभाई गई जब किसी पूर्व प्रधानमंत्री के परिवार ने दिल्ली में समाधि बनाने में अनिच्छा व्यक्त की। डॉ. मनमोहन सिंह जी न केवल अर्थशास्त्र और राजनीति के चमकते सितारे थे, बल्कि वे सिख धर्म के भी नेता थे। उनका जीवन ‘नेक इरादे, नेक कर्म, नेक कमाई’ का अनूठा उदाहरण था। उनके अंतिम संस्कार के लिए जगह न देकर मोदी सरकार ने अपनी संकीर्ण मानसिकता का परिचय दिया है। मनमोहन सिंह में आस्था रखने वाले, उनका सम्मान करने वाले और पूरा सिख समुदाय मोदी सरकार के इस फैसले से बेहद आहत है।
कांग्रेस से ज्यादा दयनीय कोई पार्टी नहीं – मनजिंदर सिंह सिरसा
वहीं इस पूरे विवाद पर भाजपा नेता मनजिंदर सिंह सिरसा ने कहा कि कांग्रेस से ज्यादा दयनीय कोई पार्टी नहीं है। स्मारक पर तथ्य पहले ही स्पष्ट हो चुके हैं। यह वाकई चौंकाने वाली बात है कि कांग्रेस सिखों को अपनी गंदी राजनीति में घसीटने की कोशिश कर रही है। वे कई सालों से ऐसा करते आ रहे हैं और यह वही पार्टी है जिसने दिल्ली की सड़कों पर सिखों का कत्लेआम किया था। कुछ तो शर्म करो। मैं हमेशा डॉ. मनमोहन सिंह जी का सम्मान करूंगा और यह सुनिश्चित करूंगा कि उनके सम्मान में एक भव्य स्मारक बनाया जाए।
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