Latest Political News in Hindi: दिल्ली पुलिस ने रविवार 28 अप्रैल को सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म (Social Media Platform) पर प्रसारित एक छेड़छाड़ किए गए वीडियो पर मामला दर्ज किया, जिसमें केंद्रीय गृह मंत्री (Union Home Minister) अमित शाह (Amit Shah) अनुसूचित जाति (SC), अनुसूचित जनजाति (ST) और अन्य पिछड़ा वर्ग (OBC) के लिए आरक्षण कोटा (Reservation Quota) खत्म करने की वकालत कर रहे हैं। वीडियो, जिसने विवाद (Controversy) और गलत सूचना (Wrong Information) के आरोपों को जन्म दिया है, उन्होंने गृह मंत्रालय (एमएचए) को इसके लिए जिम्मेदार लोगों के खिलाफ कार्रवाई (Action) की मांग करते हुए शिकायत दर्ज करने के लिए प्रेरित किया है।
वीडियो की प्रामाणिकता (Authenticity) को लेकर भारतीय जनता पार्टी (BJP) द्वारा उठाई गई चिंताओं के जवाब में, दिल्ली पुलिस ने रविवार 28 अप्रैल को प्रथम सूचना रिपोर्ट (First Information Report – FIR) दर्ज की। भारतीय जनता पार्टी (BJP) ने यह कहकर वीडियो की निंदा की है कि, एक राजनीतिक रैली (Political Rally) के दौरान दिए गए गृह मंत्री अमित शाह के मूल बयानों (Original Statements) को विकृत (Distorted) करने के लिए इसमें हेरफेर किया गया है।
भारतीय जनता पार्टी (BJP) प्रवक्ता अमित मालवीय (Amit Malviya) के अनुसार, तेलंगाना में मुसलमानों (Muslims in Telangana) के लिए आरक्षण कोटा के मुद्दे पर अमित शाह की टिप्पणियों को गलत तरीके से पेश करने के लिए संबंधित वीडियो में बदलाव किया गया है।
“कांग्रेस एक संपादित वीडियो (Edited Video) फैला रही है जो पूरी तरह से फर्जी है और इससे बड़े पैमाने पर हिंसा (Mass Violence) होने की संभावना है। गृह मंत्री अमित शाह ने एससी/एसटी और ओबीसी की हिस्सेदारी कम करने के बाद धर्म के आधार पर मुसलमानों को दिए जाने वाले असंवैधानिक आरक्षण (Unconstitutional Reservation) को हटाने की बात कही। बता दे कि, इस फर्जी वीडियो को कई कांग्रेस प्रवक्ताओं ने पोस्ट किया है। अमित मालवीय ने शनिवार 27 अप्रैल को कहा कि, उन्हें कानूनी परिणामों के लिए तैयार रहना चाहिए।
वीडियो को लेकर विवाद तब और बढ़ गया जब कांग्रेस से जुड़े आधिकारिक अकाउंट सहित विभिन्न सोशल मीडिया हैंडल ने छेड़छाड़ की गई। फुटेज साझा करते हुए आरोप लगाया है कि इससे भाजपा के “एससी/एसटी आरक्षण कोटा खत्म करने के एजेंडे” का खुलासा हुआ है। इन दावों की भारतीय जनता पार्टी के नेताओं ने तीखी आलोचना की है, जिन्होंने कांग्रेस पर सामाजिक कलह (Social Discord) भड़काने की क्षमता वाली गलत सूचना प्रसारित करने का आरोप लगाया है।
गृह मंत्रालय ने अपनी शिकायत के साथ एक व्यापक रिपोर्ट अटैच की है, जिसमें गृह मंत्री के छेड़छाड़ किए गए वीडियो को साझा करने के लिए जिम्मेदार लिंक और हैंडल की पहचान की गई है। अब एफआईआर दर्ज होने के साथ-साथ, दिल्ली पुलिस स्पेशल सेल की इंटेलिजेंस फ्यूजन एंड स्ट्रैटेजिक ऑपरेशंस (Intelligence Fusion and Strategic Operations – IFSO) यूनिट ने मनगढ़ंत वीडियो की उत्पत्ति की जांच शुरू कर दी है।