Political News: पहले कहा जा रहा था कि आप पार्टी और कांग्रेस के बीच दिल्ली और पंजाब में सीट बंटवारे में पेंच फंस सकता है लेकिन ऐसा कुछ भी नहीं हुआ। दोनों दलों के बीच बैठक हुई और सब कुछ साफ़ हो गया। सीटें बाँट गई। दिल्ली में कांग्रेस चार सीटों पर चुनाव लड़ेगी जबकि पंजाब को कांग्रेस को आठ सीटें मिल सकती है। आप पार्टी दिल्ली में तीन सीटों पर चुनाव लड़ेगी और पंजाब में आप के हिस्से में 6 सीटें जा सकती है। संभव है एक दो सीटों को लेकर कुछ आपसी पेंच फंस सकता है लेकिन अब इसकी भी सम्भावना कम ही रह गई है। लेकिन सबसे बड़ा पेंच पश्चिम बंगाल और बिहार में सीट को लेकर खींचतान जारी है। हालांकि राजद की तरफ से सीटों को लेकर कोई पेंच नहीं है लेकिन नीतीश कुमार ने पेंच फंसा रखा है। अभी तक सीटों को लेकर जो आपसी सहमति बनी है उसमे जदयू और राजद 16 -16 सीटों पर चुनाव लड़ सकते हैं। पांच सीटें कांग्रेस को मिलेगी और तीन सीटें महागठबंधन के अन्य दलों को मिल सकती है। लेकिन नीतीश कुमार चाहते हैं कि पिछले चुनाव में जदयू की जहाँ से जीत हासिल हुई थी जदयू वही से चुनाव लड़ेगी। ऐसे में राजद कोटे की करीब पांच से छह सीटें फंस रही है। राजद चाहती है कि यादव -मुस्लिम वाली पांच से चाह सीटें उन्हें मिलनी चाहिए। ये सीटें जदयू के पास जा रही है लेकिन नीतीश कुमार कोई सीट बदलना नहीं चाहते।
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पिछले दिनों सीटों को लेकर कांग्रेस ,जदयू और राजद के बीच बैठक होनी थी। बैठक हुई भी। लेकिन इस बैठक में जदयू की तरफ से कोई भी नहीं आया। कह सकते हैं कि जदयू ने बैठक में आने से इंकार कर दिया। राजद के मनोज झा कांग्रेस नेताओं के साथ बैठक की। लेकिन अंतिम रूप से कोई बात नहीं बनी है। कहा जा रहा है कि नीतीश कुमार चाहते हैं कि संयोजक को लेकर उनके नाम की घोषणा होनी चाहिए। हालांकि कांग्रेस को इससे कोई ऐतराज नहीं है। कांग्रेस यही चाहती है कि पहले सीटों का बंटवारा हो जाए इसके बाद संयोजक का फैसला हो। वैसे भी कांग्रेस को अब नीतीश कुमार को संयोजक बनाने से कोई आपत्ति नहीं है। खबर तो यह भी है कि कांग्रेस ने इस मामले में हरी झंडी भी दे दी है। लेकिन सीटों को लेकर जो पेंच फंसा हुआ है वह जब तक साफ़ नहीं होता है तब तक कुछ नहीं कहा जा सकता।
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इसी तरह से पश्चिम बंगाल में भी सीटों का खेल फंसा हुआ है। ममता बार -बार यही कहती है कि वह कांग्रेस को दो सीटों से ज्यादा सीटें नहीं देगी। इधर ममता के इस बयान से अधीर ईंजन चौधरी भड़क जाते हैं। अभी भी चौधरी भड़के हुए हैं। वे चाहते हैं कि कम से काम दस सीटों पर कांग्रेस चुनाव लड़े लेकिन ममता ऐसा नहीं चाहती। अब बंगाल में ममता क्या कुछ फैसला लेती है यह देखने की बात होगी। ऐसे में इंडिया गठबंधन के भीतर अभी जो पेंच फंसा हुआ है वह ममता और नीतीश को लेकर ही फंसा हुआ है। जानकार कह रहे हैं कि एक या दो दिनों में इन दोनों राज्यों का भी सब कुछ साफ हो जायेगा। राहुल गाँधी की भारत जोड़ो न्याय यात्रा 14 तारीख से शुरू होनी है। राहुल भी चाहते हैं कि यात्रा से पहले सीटों का खेला ख़त्म हो जाए।