Petrol Pump Strike in Rajasthan: राजस्थान के सभी पेट्रोल पंप रविवार, 8 मार्च से दो दिनों के लिए बंद रहेंगे (petrol pump strike in rajasthan)। राजस्थान पेट्रोल डीलर्स एसोसिएशन द्वारा घोषित नो परचेज नो सेल’ हड़ताल के कारण पेट्रोल पंप बंद रहेंगे। यह हड़ताल राज्य में फ्यूल की बढ़ती कीमतों के विरोध में की जाएगी। एसोसिएशन पेट्रोल और डीजल पर वैट घटाने की भी मांग कर रहा है। पेट्रोल पंपों की हड़ताल के कारण आने वाले दो दिनों में वाहन चालकों को परेशानी का सामना करना पड़ सकता है।
संदीप बगेरिया जो राजस्थान पेट्रोल डीलर्स एसोसिएशन के कोषाध्यक्ष है उन्होंने शनिवार को बताया कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने वादा किया था कि बीजेपी सरकार पेट्रोल के दाम कम करेगी, लेकिन अभी तक कोई भी फैसला नहीं हुआ है।
उन्होंने यह भी कहा कि पेट्रोल की एक्सेसिव प्राइस के कारण पेट्रोल बिजनेस के 33% डीलर बंद होने के कगार पर हैं। यह उल्लेख करते हुए कि राजस्थान में पेट्रोल पर सबसे अधिक वैट है, उन्होंने राज्य में पेट्रोल की कीमतों को दूसरे राज्यों के बराबर कम करने के लिए कहा है। उन्होंने कहा, ”सरकार ने पेट्रोल की कीमतों कोविड के दौरान पर वैट बढ़ाया था, जिसे अभी तक भी संशोधित नहीं किया गया है।”
राजस्थान में पेट्रोलियम डीलर (petrol pump strike in rajasthan) नो परचेज नो सेल’ हड़ताल की वजह से न तो कोई फ्यूल खरीदेंगे और न ही बेचेंगे। इसके अलावा वे सोमवार को प्रदर्शन भी करेंगे।
खबरो से मिली जानकारी के मुताबिक “राजस्थान पेट्रोल डीलर्स एसोसिएशन ने सुबह 6 बजे से अगले 48 घंटों के लिए “नो परचेज नो सेल” हड़ताल की अनाउंसमेंट की है। इसका पर्पस राज्य में हाई फ्यूल प्राइसेज पर सरकार का ध्यान आकर्षित करना है। बीजेपी सरकार पेट्रोल के दाम कम करेगी एसा प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने वादा किया था कि लेकिन ऐसा कुछ भी नहीं हुआ। हमारे ट्रेड एसोसिएशन के 33 फीसदी डीलर बंद होने की कगार पर हैं।”
हड़ताल 10 मार्च को सुबह 6 बजे से शुरू होगी और 12 मार्च को सुबह 6 बजे तक जारी रहेगी। एसोसिएशन के चेयरमैन राजेंद्र सिंह भाटी ने राज्य में पेट्रोल और डीजल की कीमतों पर अधिक वैट पर चिंता एक्सप्रेस करते हुए कहा कि पीएम मोदी की गारंटी के बावजूद वैट में कोई कटौती नहीं हुई। तेल कंपनियों ने लंबे समय से डीलर कमीशन भी नहीं बढ़ाया है।
राजस्थान में पेट्रोल (petrol pump strike in rajasthan) पर सबसे अधिक मूल्य वर्धित वैट है, इसलिए राज्य में पेट्रोल की कीमतें कम करने की जरूरत है। कोविड के दौरान सरकार ने पेट्रोल की कीमतों पर वैट बढ़ा दिया था, जिसमें कभी बदलाव नहीं किया गया था। अब हम इस हड़ताल के जरिए सरकार का ध्यान आकर्षित करना चाहते हैं, ताकि कीमतें कम हो सकें।
राजस्थान पेट्रोलियम डीलर्स एसोसिएशन के एक ऑफिसर ने कहा कि पीएम मोदी ने वादा किया था कि बीजेपी सरकार पेट्रोल के दाम कम करेगी, लेकिन ऐसा कुछ नहीं हुआ। उन्होंने कहा कि राजस्थान की सीमा पंजाब, हरियाणा, गुजरात, मध्य प्रदेश और उत्तर प्रदेश से लगती है लेकिन इन सभी राज्यों में डीजल और पेट्रोल के दाम सस्ते हैं। बॉर्डर एरियाज के लोग तेल खरीदने के लिए पड़ोसी राज्यों में जा रहे हैं। नतीजा यह है कि बॉर्डर के कई पंप बंद होने की कगार पर हैं।