Mahakumbh Mela 2025: मौसम, यातायात और सेवाओं के लिए विशेष तैयारियां, आइएमडी ने लॉन्च किया वेबपेज
Mahakumbh Mela 2025: महाकुंभ 2025 की तैयारियों में तेजी लाते हुए भारतीय मौसम विज्ञान विभाग (आईएमडी) ने अपनी 150वीं वर्षगांठ के अवसर पर एक विशेष वेबपेज लॉन्च किया है। यह वेबपेज महाकुंभ क्षेत्र में मौसम की वास्तविक समय की जानकारी और पूर्वानुमान उपलब्ध कराएगा। यह कदम श्रद्धालुओं और मेले के प्रशासन के लिए सुरक्षा और सुविधाओं को सुनिश्चित करने के उद्देश्य से उठाया गया है।
गुरुवार को लखनऊ के कानपुर रोड स्थित होटल हॉलिडे इन में आयोजित एक कार्यशाला में इस वेबपेज का उद्घाटन किया गया। इस अवसर पर लखनऊ आईएमडी के निदेशक मनीष रणालकर ने बताया कि महाकुंभ जिले में तीन नई ऑटोमेटेड मौसम स्टेशन (AWS) स्थापित की गई हैं। ये स्टेशन हर 15 मिनट में मौसम की जानकारी अपडेट करेंगे। इस डेटा को वेबपेज और जिले में लगाए गए दो डिजिटल डिस्प्ले बोर्ड के माध्यम से साझा किया जाएगा, जिससे श्रद्धालु और प्रशासनिक अधिकारी मौसम की जानकारी वास्तविक समय में प्राप्त कर सकेंगे।
मौसम अपडेट और पूर्वानुमान की विशेषताएं
नए वेबपेज पर तापमान, ठंड, वर्षा और अन्य मौसम संबंधी जानकारी हर 15 मिनट में अपडेट की जाएगी। इसके अतिरिक्त, दिन में दो बार मौसम का पूर्वानुमान जारी किया जाएगा। इससे महाकुंभ क्षेत्र में अचानक होने वाले मौसम परिवर्तन के प्रति सतर्कता बढ़ेगी।
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चौधरी चरण सिंह अंतरराष्ट्रीय हवाई अड्डे, लखनऊ में भी विमानन सेवाओं को बेहतर बनाने के लिए स्वचालित मौसम अवलोकन प्रणाली (AWOS) का उद्घाटन किया गया। यह प्रणाली हवाई यातायात को सुरक्षित और सुचारू बनाने में सहायक होगी।
महाकुंभ के लिए विशेष यात्री सेवाएं
महाकुंभ 2025 को देखते हुए भारतीय रेलवे ने भी श्रद्धालुओं की सुविधा के लिए 12 विशेष ट्रेनें चलाने की घोषणा की है।
लखनऊ-प्रयाग जंक्शन विशेष ट्रेन: यह ट्रेन 12, 13, 27, 28 जनवरी और 1, 2, 10, 11, 24, 25 फरवरी को चलेगी। ट्रेन दोपहर 2 बजे लखनऊ के चारबाग स्टेशन से रवाना होकर रायबरेली होते हुए शाम 7:55 बजे प्रयाग जंक्शन पहुंचेगी।
चेन्नई सेंट्रल-गोमतीनगर विशेष ट्रेन: चेन्नई से गोमतीनगर के बीच यह ट्रेन 6 फेरों में चलेगी, जिससे दक्षिण भारत के श्रद्धालु भी महाकुंभ तक आसानी से पहुंच सकेंगे।
150 साल का सफर: आईएमडी की उपलब्धियां
कार्यक्रम के दौरान आईएमडी की 150 सालों की यात्रा को प्रदर्शित किया गया। विभाग की पहली हिंदी पत्रिका ‘क्षितिज’ का विमोचन भी किया गया। इस अवसर पर विभाग के सेवानिवृत्त कर्मचारियों को सम्मानित किया गया और उनकी सेवाओं की सराहना की गई।
कार्यक्रम में सिंचाई विभाग के सचिव जीएस नवीन कुमार और उत्तर प्रदेश कृषि अनुसंधान परिषद (यूपीसीएआर) के महानिदेशक डॉ. संजय सिंह ने मौसम विभाग के कृषि क्षेत्र में योगदान पर प्रकाश डाला।
श्रद्धालुओं के लिए सुविधाएं
महाकुंभ को एक अस्थायी जिला घोषित किया गया है, जहां स्वच्छता, यातायात, और सुरक्षा के विशेष इंतजाम किए जा रहे हैं। डिजिटल डिस्प्ले बोर्ड पर मौसम की जानकारी उपलब्ध होने से श्रद्धालु अपने कार्यक्रमों की योजना बना सकेंगे।
महाकुंभ 2025 की अनोखी पहल
इस बार महाकुंभ में डिजिटल और वैज्ञानिक तकनीक का उपयोग बड़े पैमाने पर किया जा रहा है। आईएमडी का यह कदम श्रद्धालुओं और प्रशासनिक अधिकारियों को मौसम से जुड़ी हर चुनौती का सामना करने में मदद करेगा। रेलवे की विशेष ट्रेनों और प्रशासनिक तैयारियों से यह सुनिश्चित किया जा रहा है कि इस बार का महाकुंभ आयोजन अधिक सुव्यवस्थित और सुरक्षित हो।
महाकुंभ 2025 भारतीय संस्कृति, अध्यात्म और तकनीकी प्रगति का एक अद्वितीय संगम होगा।
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