Uttar Pradesh Political Samachar in Hindi: कांग्रेस मजबूत सीट पर ही फोकस करे वरना सब ख़त्म हो जायेगा
Uttar Pradesh Political Samachar in Hindi | Loksabha elction 2024
Uttar Pradesh Political Samachar in Hindi: उत्तरप्रदेश (Uttar Pradesh Political Samachar in Hindi) में सपा ने कांग्रेस AP and Congress) को 17 सीटें दी है। बाकी सीटों पर सपा और उसके साथ जुडी अन्य पार्टियां चुनाव लड़ेगी। कह सकते हैं कि इंडिया गठबंधन की और पार्टियां बाकी 63 सीटों पर चुनाव लड़ेगी। यह बड़ी बात है कि यूपी में सपा और कांग्रेस के बीच गठबंधन अभी तक कायम रहा। पहले इसकी संभावना नहीं थी। हालांकि बीजेपी (BJP) की तरफ से भी यह कोशिश की जा रही थी कि इंडिया गठबंधन यूपी में न हो ,टूट जाए। लेकिन अभी तक ऐसा नहीं हुआ। बीजेपी के लिए भी यह एक बड़ा झटका हो सकता है। लेकिन सबसे बड़ी बात तो यह है कि कांग्रेस (Congress) अभी भी इस बात की चाहत रखे हुए है कि एक या दो सीट और मिल जाए।
बड़ी बात अब यह है कि कांग्रेस और क्या चाहत रखती है। इस बात को छोड़ भी दिया जाए तो कांग्रेस को जो 17 सीटें मिली है क्या उसके लिए भी कांग्रेस के पास कायदे के मजबूत उम्मीदवार हैं ? यह बड़ा सवाल है। ऊपर से देखने में यही लगता है कि कांग्रेस को और भी सीटें मिलनी चाहिए। लेकिन क्यों मिलनी चाहिये यह कोई नहीं पूछ रहा है ? क्या कांग्रेस के पास यूपी में (Uttar Pradesh Political Samachar in Hindi) कोई मजबूत संगठन है ? क्या कांग्रेस के पास वोट बैंक बचे हुए हैं ?
पिछले चुनाव में तो कांग्रेस को मात्र ढाई फीसदी वोट ही मिले थे और एक सांसद यूपी से जीत पाए थे। विधान सभा चुनाव (Vidhansabha election) में क्या कहानी हुई यह भी देश देख रहा है। विधान सभा चुनाव में भी कांग्रेस को एक ही सीट मिल सकी है। ऐसे में साफ़ है कि कांग्रेस के पास यूपी में कोई बड़ा वोट बैंक नहीं है। पहले कांग्रेस के पास जतिन प्रसाद और आरपीएन सिंह जैसे नेता भी थे लेकिन अब वे बीजेपी के साथ चले गए हैं।
ऐसे में कांग्रेस को जो सीटें मिली ही उस पर ध्यान देने की जरूरत है। कांग्रेस को तो सबसे पहले मजबूत उम्मीद खोजनी है और अगर उम्मीदवार पार्टी सफल हो जाती है तब ही उसे आगे बढ़ने की जरूरत है। अगर पार्टी दर्जन भर सीट पर भी फोकस करे तो उसे लाभ मिल सकता है। यह सब जानते हैं कि इस बार का चुनाव कोई आसान नहीं है। पूरी लड़ाई सपा और बीजेपी (SP and BJP) के बीच है। कोई त्रिकोणीय मुकाबला नहीं होना है। बसपा की अपनी लड़ाई है और वह भी कुछ इलाकों पर ही फोकस करेगी। इसलिए कांग्रेस को खुद के और सपा के वोट बैंक के सहारे आगे बढ़ने की जरूत है। और कांग्रेस ऐसा नहीं करती है तो उसका यूपी में (Uttar Pradesh Political Samachar in Hindi) फिर से बेड़ा गर्क हो सकता है।