Vishal Yadav Pakistani Spy: जासूसी के आरोप में गिरफ्तार नौसेना कर्मचारी, ऑपरेशन सिंदूर की जानकारी लीक करने का आरोप
दिल्ली स्थित नौसेना भवन में तैनात अपर डिवीजन क्लर्क विशाल यादव को 16 जून को जासूसी के आरोप में राजस्थान इंटेलिजेंस टीम ने मानेसर से गिरफ्तार किया। विशाल हरियाणा के रेवाड़ी जिले के पुंसिका गांव का रहने वाला है। गुरुवार को उसे जयपुर की अदालत में पेश किया गया, जहां से चार दिन की पुलिस रिमांड दी गई है।
Vishal Yadav Pakistani Spy: दिल्ली स्थित नौसेना भवन में तैनात अपर डिवीजन क्लर्क विशाल यादव को 16 जून को जासूसी के आरोप में राजस्थान इंटेलिजेंस टीम ने मानेसर से गिरफ्तार किया। विशाल हरियाणा के रेवाड़ी जिले के पुंसिका गांव का रहने वाला है। गुरुवार को उसे जयपुर की अदालत में पेश किया गया, जहां से चार दिन की पुलिस रिमांड दी गई है।
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गिरफ्तारी की जानकारी परिवार को देर से लगी
विशाल के परिवार को उसकी गिरफ्तारी की सूचना 24 जून को मिली। परिवार के मुताबिक, विशाल 16 जून को दिल्ली में अपनी ड्यूटी पूरी करने के बाद घर लौट रहा था, तभी मानेसर पहुंचने पर राजस्थान इंटेलिजेंस ने उसे गिरफ्तार किया। उसकी गाड़ी मानेसर के एक मेडिकल स्टोर के बाहर खड़ी मिली थी। उस समय घर पर उसकी मां अकेली थीं, जबकि पत्नी बच्चों के साथ मायके गई हुई थी।
परिवार को शुरू में लगा कि विशाल लापता हो गया है। 22 जून को उसके चचेरे भाई को एक कॉल आई, जिसमें कहा गया कि वह दो दिन में लौट आएगा और कहीं घूमने गया है। इस कॉल के बाद परिवार ने पुलिस से संपर्क किया और फोन की अंतिम लोकेशन मानेसर पाई गई। मानेसर जाकर उन्होंने विशाल की गाड़ी तो पा ली, लेकिन व्यक्ति का कोई अता-पता नहीं था।
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इंटेलिजेंस वाहन की पहचान से खुला राज
परिवार के एक सदस्य ने उस वाहन का नंबर नोट किया जिससे विशाल को ले जाया गया था। वाहन का रजिस्ट्रेशन चेक करने पर वह जयपुर इंटेलिजेंस एसपी के नाम पर निकला। इसके बाद परिवार जयपुर पहुंचा और वहां एसपी से संपर्क किया। पूछताछ में उन्हें बताया गया कि विशाल के बैंक खाते में पाकिस्तान से ट्रांजेक्शन हुए हैं और उसने पाकिस्तानी हैंडलरों से सोशल मीडिया के माध्यम से चैटिंग की है।
ऑपरेशन सिंदूर की जानकारी लीक करने का आरोप
जयपुर सीआईडी-सुरक्षा के आईजी विष्णु कांत गुप्ता ने बताया कि विशाल ने पूछताछ में स्वीकार किया है कि उसने ‘ऑपरेशन सिंदूर’ से जुड़ी गोपनीय जानकारी एक पाकिस्तानी जासूस को साझा की थी। इसके बदले में उसे लगभग दो लाख रुपये की राशि प्राप्त हुई, जिसमें से 50,000 रुपये इस ऑपरेशन से संबंधित जानकारी लीक करने के लिए मिले। कुछ ट्रांजेक्शन क्रिप्टोकरेंसी यूएसडीटी में भी हुए।
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पुलिस परिवार से रहा है विशाल का संबंध
विशाल का पारिवारिक इतिहास पुलिस सेवा से जुड़ा रहा है। उसके पिता सुनील यादव हरियाणा पुलिस में एएसआई के पद पर कार्यरत थे, जिनकी 12 साल पहले एक सड़क दुर्घटना में मृत्यु हो गई थी। उसके दो चाचा भी हरियाणा पुलिस में सेवाएं दे चुके हैं। इसी कारण इस गिरफ्तारी ने पूरे गांव और परिवार को चौंका दिया है।
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