4th phase Womens voting percentage lokSabha: महिला मतदाताओं की बुर्का उतार भाजपा उम्मीदवार माधवी लता मुश्किल मेंओवैसी के खिलाफ चुनाव लड़ने वाली हैदराबादी उम्मीदवार माधवी लता की मुश्किलें अब और बढ़ गई हैं। हैदराबाद पुलिस ने जो मामला खोला है, उसमें माधवी निशाने पर हैं। हैदराबाद लोकसभा सीट पर चौथे चरण में 13 मई को चुनाव होने हैं।
तेलंगाना के हैदराबाद लोकसभा क्षेत्र से भाजपा उम्मीदवार माधवी लता के खिलाफ एफआईआर दर्ज की गई है। जनप्रतिनिधित्व अधिनियम की धारा 132, आईपीसी की धारा 171सी, 186 और 505 (1) (सी) के तहत मलकपेट पुलिस स्टेशन में मामला दर्ज किया गया है। सोशल मीडिया पर वायरल हुए एक वीडियो में माधवी लता को एक मतदान केंद्र पर जाकर मुस्लिम महिलाओं के पहचान पत्र की जांच करते हुए दिखाया गया है।
वीडियो में मतदान केंद्र के अंदर मुस्लिम महिलाओं को बुर्का उतारने के लिए कहा जा रहा है और भाजपा उम्मीदवार माधवी लता उनके पहचान पत्र की जांच कर रही हैं। वह न केवल उनसे यह अनुरोध कर रही हैं, बल्कि उनकी पहचान भी पूछ रही हैं।
माधवी लता: कुछ भी अनुचित नहीं किया
भाजपा उम्मीदवार माधवी लता ने इस मुद्दे पर कहा कि उन्होंने मुस्लिम महिलाओं से उनकी पहचान सत्यापित करने को कहा था और इसमें कुछ भी अनुचित नहीं है।
माधवी लता ने कहा मैंने उन महिलाओं से पूछा था।
माधवी का दावा है कि चूंकि मैं चुनाव में उम्मीदवार हूं, इसलिए मेरे पास बिना फेसमास्क पहने मतदाता की पहचान सत्यापित करने का कानूनी अधिकार है। मैंने उन महिलाओं से सम्मानपूर्वक अपनी पहचान बताने के लिए कहा क्योंकि मैं एक महिला हूं, पुरुष नहीं। मैंने उन्हें सूचित किया, माधवी लता का दावा है। क्या मैं आपका पहचान पत्र देख सकती हूं? माधवी लता के अनुसार, अगर कोई इस मामले को तूल देना चाहता है तो यह डर को दर्शाता है।
पुलिस ने कोई जांच नहीं की।
माधवी लता ने पहले भी अपने निर्वाचन क्षेत्र की मतदाता सूची में विसंगतियों का दावा किया था। माधवी लता के अनुसार, पुलिस अधिकारी बहुत सुस्त, निष्क्रिय और कोई जांच नहीं करने वाले प्रतीत होते हैं। हालाँकि उनके नाम सूची से हटा दिए गए हैं, फिर भी वरिष्ठ नागरिक मतदाता यहाँ आ रहे हैं।
प्रचार के दौरान माधवी लता ने भी खूब सुर्खियां बटोरीं।
आपको बता दें कि, भाजपा उम्मीदवार माधवी लता पूरे लोकसभा चुनाव प्रचार के दौरान खूब चर्चित रहीं। उनके तीर चलाने के अंदाज ने खूब चर्चा बटोरी। इसके अलावा 15 मिनट बनाम 15 सेकंड पर भी बहस ने जोर पकड़ा। उन्होंने कहा कि यह गलत व्याख्या है और 15 सेकंड का संदर्भ वोटिंग के लिए था। उन्होंने मुखर तरीके से अपनी बात रखी। उनके प्रतिद्वंद्वी एआईएमआईएम के उम्मीदवार असदुद्दीन ओवैसी हैं और वे लगातार तीन चुनाव जीत चुके हैं। पिछले चालीस सालों से एआईएमआईएम इस पद पर काबिज है।