लखनऊ। उत्तर प्रदेश की योगी सरकार ने अब एक और बड़ा फैसला लिया है। सरकार ने राज्य में मदरसों सर्वे के बाद वक्फ बोर्ड की संपत्तियों की जांच के आदेश दिये हैं। वक्फ बोर्ड की संपत्तियों की जांच राज्य के सभी 75 जिलों में होगी। जांच कार्य पूरा करने के लिए एक माह का समय निर्धारित किया गया है।
7 अप्रैल 1989 का शासनादेश निरस्त
यूपी सरकार ने 7 अप्रैल 1989 के शासनादेश को निरस्त कर दिया है। नये आदेश जारी करते हुए सरकार ने 7 अप्रैल 1989 के बाद दर्ज वक्फ प्रकरणों का पुनर्परीक्षण करने का आदेश दिया है। इसके साथ ही पुनर्परीक्षण के उपरांत विहित प्रक्रिया के अनुसार राजस्व रिकार्ड दुरुस्त करने के निर्देश जारी हुए हैं।
वक्फ बोर्ड को मजार और कब्रिस्तान की जमीनों का मालिकाना हक़
1989 के शासनादेश के तहत सामान्य संपत्ति (बंजर,ऊसर,भीटा इत्यादि) को अवैध तरीके से राजस्व अभिलेखों में दर्ज करने की लगातार शिकायतों मिल रही थीं। वक्फ बोर्ड में मजार और कब्रिस्तान की जमीनों का मालिकाना हक़ होता है। वक्फ बोर्ड द्वारा तमाम सरकारी जमीनों पर अवैध कब्जे होने की शिकायत प्राप्त हो रही थीं।
इस शिकायतों के मद्देनज़र पुनर्परीक्षण का आदेश जारी किया है। राज्य सरकार ने सभी मंडलायुक्तों और जिलाधिकारियों को पुनर्परीक्षण करने के लिए नया शासनादेश भेज दिया है। उत्तर प्रदेश में 1954 में राज्य वक्फ बोर्ड का गठन हुआ था। इसके बाद इसमें 1959 व 1995 में कई संशोधन किये गये।
संशोधनों के बाद वक्फ बोर्ड को असीमित अधिकार
इस संशोधनों में वक्फ बोर्ड को असीमित अधिकार दिये गये। अधिकांश वक्फ बोर्ड के पदाधिकारिन निजी लाभ के लिए इन अधिकारों का दुरुपयोग कर रहे हैं। हाल ही में तमिलनाडू के एक गांव की जमीन को वक्फ की जमीन बताते हुए राजस्व अभिलेखों में दर्ज कराने के दावे के जानकारी मिली है।
दिल्ली के वक्फ बोर्ड की संपत्तियों में गड़बड़ी मिलीं
वहीं दिल्ली के वक्फ बोर्ड अध्यक्ष पर भी भ्रष्टाचार के आरोप लगे हैं। इसे चेयरमैन व आम आदमी पार्टी के अध्यक्ष अमानतुल्लाह ने वक्फ की जमीन पर स्कूल के स्थान पर दुकानें बनवा दीं। अमानतुल्लाह के खिलाफ शिकायत में आरोप है कि उन्होने स्कूल की जगह पर बनी दुकानों को 40 साल के लिए आन रिकॉर्ड लीज दिया है। आरोप है कि मोटी रकम लेकर अमानतुल्लाह ने मोटी रकम देकर इन्हें बेचा है।
1964 में सेन्ट्रल वक्फ काउंसिल गठित
बता दें कि केन्द्र में 1964 में सेन्ट्रल वक्फ काउंसिल गठित हुआ। इस समय देश भर में वक्फ की 8.5 लाख सम्पत्तियां होने का पता चला है। प्रदेश में वक्फ बोर्ड की संपत्तियों की जांच के आदेश के बाद आईएमआईएमआई ने एतराज जताया है।
आईएमआईएमआई ने एतराज जताया
आईएमआईएमआई प्रवक्ता असीम बकार ने कहा है कि योगी सरकार के इस फैसले पर एतराज जताया है। उन्होने एनआरसी की तर्ज पर मुस्लिमों को परेशान करने का आरोप लगाया है। वक्फ की संपत्तियों की जांच के आदेश से यूपी के मुस्लिमों में हड़कंप मचा हुआ है।