Vikas Divyakirti: शादी के बाद पति के साथ जीवन खुशहाल बीते इसके लिए लड़के से पहले ही कुछ सवाल-जवाब (How To Choose Good Husband) कर लेना जरूरी होता है। इससे आप कहीं ना कहीं अपने आने वाली लाइफ का अंदाजा लगा सकते हैं।
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शादी जीवन का बहुत ही अहम फैसला होता है। इसलिए किसी के साथ जीवनभर के बंधन में बंधने से पहले अच्छी तरह से जांच पड़ताल कर लेने में ही भलाई होती है। वरना जीवनसाथी के रूप में ऐसा व्यक्ति गले पड़ जाता है, जिसके साथ हर पल मुश्किल और दुखों से भरा लगने लगता है। विकास दिव्यकीर्ति (Vikas Divyakirti) के अनुसार लड़कियों को खासतौर पर शादी करने से पहले लड़कों से एक सवाल जरूर पूछ लेना चाहिए। इस प्रश्न को आप इस लेख में डिटेल से जान सकते हैं।
इससे पहले आपके लिए जानना जरूरी है कि डॉ. विकास दिव्यकीर्ति (Vikas Divyakirti), दृष्टि IAS के संस्थापक और 1996 बैच के IAS हैं, जो आज के समय में इंटरनेट पर युवाओं के बीच सेंशेसन बने हुए हैं। कारण है- यह अपने कोचिंग में यूपीएससी के लिए ही नहीं बल्कि जीवन की परीक्षाओं के लिए भी तैयारी कराते हैं। बता दें कि इन्होंने 1 साल होम मिनिस्ट्री में नौकरी करके अपने पद से इस्तीफा दे दिया था। आज उनकी पहचान एक शिक्षक, मोटिवेशनल स्पीकर और लेखक की है।
शादी से पहले लड़कियां लड़के से पूछे ये सवाल
डॉ. विकास दिव्यकीर्ति (Vikas Divyakirti) लड़कियों को सलाह देते है कि जब भी आप शादी के लिए लड़के से सवाल पूछेंगे तो इसमें एक प्रश्न जरूर शामिल करें कि तुम आखिरी बार आखों में आंसू भरके कब रोए थे?
यदि लड़के का जवाब ये है तो भूलकर भी ना करें शादी
दृष्टि IAS के संस्थापक (Vikas Divyakirti) के मुताबिक, अगर लड़के का जवाब यह हुआ कि हम रोते नहीं हैं, या आखिरी बार बचपन में रोए थे, तो फिर चाहे लड़का किसी भी पद पर हो उससे शादी बिल्कुल भी ना करें। क्योंकि जो मनुष्य पिछले कई वर्षों से नहीं रोया है वह रुलाएगा बहुत क्योंकि नहीं रोने वाले व्यक्ति अंदर से पत्थर बन जाते हैं।
रोते वहीं लोग है जो परवाह करते हैं
अगर किसी चीज के होने या ना होने पर आप रोते हैं, तो निश्चित ही यह आपके लिए बहुत आश्यक होगा आपको उस चीज की परवाह होगी।
जो व्यक्ति आसानी से रो दें वह बहुत भावुक होते हैं। ऐसे लोग जिंदगी को बहुत गहराई से जीते हैं और दूसरों को कभी दुख नहीं पहुंचाते हैं।
रोने को लेकर हुआ ये खुलासा
कहा जाता है मन को हल्का करने और भावुक होने पर निकलने वाले आंसू में ऑक्सीटोसिन और एंडोर्फिन रसायन (endorphin chemical) पाया जाता हैं, जो अच्छा महसूस कराने के साथ शारीरिक और भावनात्मक दर्द को कम करता हैं। जिसका निष्कर्ष यह निकाला गया है कि रोने से मनुष्य मेंटली हेल्दी (mentally health) और स्ट्रांग होता है।
समाज में कहा गया आंसू कमजोरी की निशानी
बचपन से सभी को सिखाया जाता है कि रोना नहीं चाहिए क्योंकि रोना गलत चीज है। लड़कों के लिए तो आंसुओं को पूरी तरह से कलंक बता दिया जाता है। अगर कोई लड़का चोट लगने पर भी रोए तो उसे यह बताया जाता है कि ‘लड़के रोते नहीं है क्योंकि वह बहादुर होते हैं, रोना कमजोरी की निशानी है।
ऐसे में लड़के जीवन भर कभी नहीं रो पाते उनके अंदर का गम कभी कम नहीं हो पाता है। जिससे वह अक्सर दूसरों के दर्द को नहीं समझ पाते हैं।