Earthquake: जर्मन रिसर्च सेंटर फॉर जिओसाइंसेज (GFZ) की तरफ से जानकारी दी गई है कि 12 घंटे के अंदर भूकंप से धरती कांपने की 2 खबर सामने आई है सबसे पहले 9 जुलाई यानि रविवार शाम 7 बजकर 39 मिनट पर अंडमान निकोबार द्वीप में भूकंप के झटके महसूस किए गए. इसके बाद रविवार की रात 12 बजकर 10 मिनट पर अफगानिस्तान के फैजाबाद से 93 km दक्षिण पूर्व में 4.4 तीव्रता के भूकंप के झटके महसूस किए गए.
आपको बता दें चिली में भी भूकंप (Earthquake) के झटके महसूस किए गए. जिसकी रिक्टर स्केल (richter scale) पर तीव्रता 5.7 तीव्रता मापी गई है. भूकंप के झटके हल्के से मध्य तीव्रता (medium intensity) के बताए जा रहे है. हालांकि इस भूकंप (earthquake) के झटके की वजह से अभी तक कोई हताहत और नुकसान होने की जानकारी नहीं मिली है.
सुनामी का खतरा नहीं
जर्मन रिसर्च सेंटर फॉर जियोसाइंसेज (GFZ) ने बताया कि 9 जुलाई यानि रविवार को चिली-अर्जेंटीना सीमा इलाके में 5.7 तीव्रता का भूकंप आया और भूकंप 112 Km (69.59 मील) की गहराई पर था. चिली की राष्ट्रीय आपदा रोकने के लिए और प्रतिक्रिया सेवा (SENAPRED) के मुताबिक भूकंप से सुनामी आने का खतरा नहीं है. यह भूकंप सुनामी को उत्पन्न नहीं करता है.
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अफगानिस्तान में भी हिली धरती
वहीं, नेशनल सेंटर फॉर सीस्मोलॉजी की तरफ से कहा गया कि रात करीब 12 बजकर 10 मिनट पर अफगानिस्तान के फैजाबाद से 93 km दक्षिण पूर्व में 4.4 तीव्रता का भूकंप आया. भूकंप की गहराई 180 km थी.
क्यों आता है भूकंप?
जानकारी के मुताबिक बता दें धरती के अंदर 7 टेक्टोनिक प्लेट्स हैं. ये प्लेट्स लगातार घूमती रहती हैं. जब ये प्लेट (plat) आपस में एक दूसरे के साथ टकरा जाती हैं. एक दूसरे के ऊपर चढ़ जाती है तब जमीन हिलने लगती है. जिसे भूकंप (Earthquake) कहा जाता है.
चिली और अफगानिस्तान में इससे पहले भी महसूस किए गए थे भूकंप के झटके
इसके पहले भी 30 मार्च 2023 को चिली और अफगानिस्तान (Chile and Afghanistan) में एक साथ भूकंप के झटके महसूस किए गए थे. चिली में ये भूकंप के झटके 30 मार्च को रात 11 बजकर 03 मिनट पर महसूस किए गए थे. उसी दिन चिली (Chile) के बाद अफगानिस्तान (Afghanistan) में भी भूकंप के झटके देखे गए थे. इसका केंद्र काबुल से उत्तर-पूर्व (northeast) में 189 km दूर और जमीन के अंदर गहराई में 152 km में था.