Jharkhand Politics News: झारखंड में चंपई सोरेन के मुख्यमंत्री (CM) बनते ही सियासी घमासान तेज हो गया है और गठबंधन के 38 विधायकों को हैदराबाद शिफ्ट कर दिया गया है. सोमवार को फ्लोर टेस्ट होना है। ऐसे में टूट-फूट की आशंका ने सबकी बेचैनी बढ़ा दी है।
झारखंड (Jharkhand) में सत्ताधारी गठबंधन के विधायक। इस वक्त हैदराबाद के लियोनिया होटल में आराम फरमा रहे हैं.। कड़े पहरे के बीच इन विधायकों को एक बैंक्वेट हॉल में ठहराया गया है। दरअसल सीएम चंपई सोरेन ने जैसे ही शपथ ली वैसे ही रांची एयरपोर्ट (Airport) से 38 विधायक हैदराबाद के लिए रवाना हो गए। गठबंधन के विधायकों का कहना था कि वो विपक्षी भारतीय जनता पार्टी (Jharkhand Politics) के किसी भी मंसूबों को वो सफल नहीं होने देंगे… जब मुख्यमंत्री चंपई सोरेन से विधायकों के हैदराबाद शिफ्ट होने की वजह पूछी गई… तो उन्होंने बस इतना ही कहा कि वो जल्द लौट आएंगे…
JMM के एक विधायक के बयान ने हड़कंप (Jharkhand Politics) मचा दिया है.. विधायक लोबिन हेंब्रेम ने संथाल परगना से अब तक सीएम न होने का दर्द बयां कर चंपई सोरेन सरकार के लिए मुश्किलें खड़ी कर दी है…
लोविन हेंब्रम का दर्द छलका कहा संथाल परगना से कोई मुख्यमंत्री (Chief Minister) नही बन सकता था। इसका हमे दर्द है । चम्पाई सोरेन मुख्यमंत्री (Champai Soren chief Minister) बने है उसका साथ देंगे। विधानसभा में पहले उसको देखेंगे। लेकिन हमे दर्द भी है की संथाल से आखिर क्यो नही सीएम बना। झारखंड बीजेपी कह रही है कि आंतरिक मतभेद को छिपाने के लिए JMM गलत आरोप लगा रही है।
तो वहीं हेमंत सोरेन के इस्तीफे और गिरफ्तारी के बाद झारखंड (Jharkhand Politics) में सियासी संकट की शुरुआत हुई, हेमंत सोरेन के पद छोड़ने के फौरन बाद जेएमएम विधायक दल के नेता चुने गए चंपई सोरेन ने राज्यपाल से मिलकर सरकार बनाने का दावा पेश किया। लेकिन 24 घंटे बीत जाने के बाद भी उन्हें सरकार बनाने का न्योता नहीं मिला।ऐसे में जैसे जैसे वक्त बीत रहा था। हेमंत सोरेन ED की रिमांड पर हैं, उनसे टीम पूछताछ कर रही है, साथ ही सुप्रीम कोर्ट ने भी सोरेन को सवाल पूछा कि आप पहले हाई कोर्ट क्यों नहीं गए
दरअसल झारखंड (Jharkhand Politics) में सियासी संकट छाया हुआ है…बीजेपी कमल खिलाने की फिराक में है, तो वहीं JMM अपने विधायकों को बचाने की पुरजोर कोशिश कर रही है, विधायकों को होटलों में रखा जा रहा है और इस बात का डर है कि कहीं अगर गलती से बीजेपी के हाथ विधायक लग गए तो सरकार भी चली जाएगी।