Maharashtra News : मुंबई में एनसीपी (NCP) के दोनों गुटों की बैठक के बाद अजित पवार ने चाचा शरद पवार को बड़ा झटका दिया है। पार्टी के कुल 53 विधयाकों में से 32 विधायक अजित पवार (Ajit Pawar) के समर्थन में खड़े हो गए और लिखित आश्वासन भी दिया कि वे सब अजित पवार के साथ हैं। हालांकि पार्टी तोड़ने के लिए अभी भी कुछ विधायकों की जरूरत अजित पवार को होगी क्योंकि कम से कम 36 विधायक होने पर ही अजित पवार पार्टी को तोड़ सकते हैं। लेकिन कहा जा रहा है कि अजित पवार के खेमे को 40 विधायकों का समर्थन है और यह सब पूरा हो जायेगा। अब आगे शरद पवार (Sharad Pawar) क्या करेंगे यह देखना बाकी है।
लेकिन महाराष्ट्र एनसीपी (Maharashtra News) के खेल से एक बात साफ़ हो गई कि जिस तर्ज पर शिवसेना को तोड़ा गया था ठीक वही कहानी एनसीपी के भीतर भी चल रही है। पूरी तैयारी शिवसेना टूट वाली ही है। लगता है कि यह पूरा खेल एक ही व्यक्ति द्वारा किया जा रहा है और इस खेल में पूरी सरकारी मिशनरी भी शामिल है। इसमें केंद्र सरकार की भी पूरी सहमति है और केंद्रीय संस्थाओं की भी।
अब अजित पवार निर्वाचन आयोग पहुंच गए हैं। पार्टी और चुनाव चिन्ह घड़ी पर उन्होंने दावा ठोकते हुए चुनाव आयोग का दरवाजा खटखटाया है। सूत्रों से कई तरह की जानकारी (Maharashtra News) मिल रही है। पहली बात तो यह है कि उपमुख्यमंत्री का शपथ लेने के बाद अजित पवार ने पोल पैनल से भी संपर्क किया है।
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सूत्र के मुताबिक चुनाव आयोग को अजित पवार द्वारा प्रतीक आदेश 1968 के पैरा 15 के तहत एक याचिका प्राप्त हुई है। इसके बाद 30 जून को ही सांसदों ,विधायकों और एमएलसी के 40 से ज्यादा हलफनामे आयोग में प्राप्त हुए हैं। एक प्रस्ताव भी प्राप्त हुआ है जिस पर कोई तारीख नहीं है। इसमें सर्वसम्मति से अजित पवार को एनसीपी का अध्यक्ष चुना गया है।
सूत्र ने कहा है कि आयोग को पतिक का तीन जुलाई का एक पात्र नहीं मिला है जिसमें बताया गया है कि महाराष्ट्र विधानसभा (Maharashtra News) के नौ सदस्यों की अयोग्यता के लिए अयोग्यता कार्यवाही सक्षम प्राधिकारी के समक्ष दायर की गई है।
जाहिर है अजित पवार काफी पहले से यह सब कर रहे थे। कहा जा रहा है कि जब से शरद पवार ने पार्टी में परिवर्तन करते हुए अपनी बेटी को आगे बढ़ाने का निर्णय लिया ठीक उसी समय से अजित पवार गुट सक्रिय हो गया। कहा जा रहा है कि इस पूरे खेल में छगन भुजवल और प्रफुल्ल पटेल की बड़ी भूमिका है और यह सब बीजेपी के दो नेताओं से मिलकर किया गया।