ट्रेंडिंगन्यूज़बड़ी खबर

Adani Group : संसद में पक्ष और विपक्ष के तकरार के बीच अब सेबी की जांच शुरू 

अडानी कांड को लेकर संसद में तकरार जारी है। सत्ता पक्ष इस मसले पर अभी कुछ कहने को तैयार नहीं

अडानी कांड को लेकर संसद में तकरार जारी है। सत्ता पक्ष इस मसले पर अभी कुछ कहने को तैयार नहीं जबकि विपक्ष पूरी ताकत के साथ  इस मामले की जांच कराने की मांग कर रहा है। उम्मीद थी कि प्रधानमंत्री मोदी अडानी समूह से जुड़े हिंडनबर्ग रिपोर्ट पर कोई बात रखेंगे लेकिन लोकसभा और राज्य सभा में पीएम मोदी भाषण तो दिए लेकिन विपक्ष पर ही तंज कसकर निकल गए। लेकिन अब सेबी यानी भारतीय प्रतिभूति एवं विनिमय बोर्ड ने अडानी इंटरप्राइजेज के 20 हजार करोड़ के एफपीओ से जुड़े दो एंकर निवेशकों की जांच शुरू कर दी है।

 संभव है कि इस जांच में भी कई खुलासे होंगे। अगर सेबी ईमानदारी से जांच करती है तो खेल आगे तक बढ़ेगा। अब सेबी ने मॉरीशस की दो कंपनियों आयुष्मत लिमिटेड और ग्रेट इंटरनेशनल टस्कर फंड की अडानी के साथ सम्बन्धो की जांच हो रही है। दोनों कंपनियों ने अडानी इंटरप्राइजेज के एफपीओ में एंकर निवेशक के रूप में अपना पैसा लगाया था। कॉर्पोरेट मामले के मंत्रालय ने बताया कि इस जांच के बारे में प्रधानमंत्री कार्यालय को जानकारी दी है। 

बता दें कि हिंडनबर्ग रिपोर्ट में आरोप लगाया गया है कि अडानी समूह की एक निजी कंपनी की मोनार्क में मामूली हिस्सेदारी थी। यह कंपनी पहले अडानी समूह के लिए एक बुक रनर के रूप में काम कर चुकी है। हिंडनबर्ग के मुताबिक़ यह साफ़ तौर पर हितों के टकराव का मामला है। हिंडनबर्ग ने यह भी आरोप लगाया है कि एलारा के एक मारीशस स्थित फंड ने अडानी समूह की तीन कंपनियों के शेयरों में अपने बाजार मूल्य का 99 फीसदी निवेश किया है। ये बातें जांच में साबित हुई तो अडानी समूह की परेशानी और भी बढ़ सकती है। 

Read : Latest News, Hindi News । News Watch India

 बता दें कि कैपिटल एवं डिस्क्लोजर नियमो के मुताबिक अगर कोई संस्था किसी कंपनी के संस्थापक या संस्थापक समूह से जुड़ा है ,ऐसे में उस कंपनी में एंकर निवेशक नहीं हो सकता। और इसी बात की जांच सेबी कर रहा है कि जो भी एंकर निवेशक है ,क्या वे समूह संस्थापकों से जुड़े हैं ? सेबी की जांच में एलारा कैपिटल और मोनार्क नेटवर्थ कैपिटल के नाम भी शामिल हैं। यह उन दस निवेश बैंकर्स में शामिल है जिन्होंने एफपीओ का प्रबंधन किया था। 

यह भी पढ़े : Gang Rape: ग्राम प्रधान व भतीजे पर किशोरी से गैंगरेप का आरोप, पीड़िता को नहर में गिराकर डूबोया

जाहिर है जब जांच शुरू होगी तो कई और मामले भी खुलेंगे। संभव है कि आगे चलकर जांच का दायरा और भी बढे और ऐसा हुआ तो खेल बड़ा भी हो सकता है। फिर हिंडनबर्ग के सभी आरोपों की भी  जांच होगी। उधर सुप्रीम कोर्ट में भी मामला चल रहा है। शीर्ष अदालत आगे क्या कुछ करता है इस पर भी सबकी निगाहें है।

news watch india
Team News Watch India

Show More

Related Articles

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *

Back to top button