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Loksabha Election Voting Percentage Update 2024: 2024 के लोकसभा चुनाव के पहले चरण में वोटिंग ट्रेंड की क्या है अहमीयत?

What is the significance of the voting trend in the first phase of 2024 Lok Sabha elections?

Loksabha Election Voting Percentage Update 2024: अगर बात 2024 के चुनाव की करी जाए तो साल 2014 और 2019 की तुलना में भारतीय जनता पार्टी के वोट बैंक में कई राज्यों में वोट प्रतिशत में गिरावट देखी गई है।

लोकसभा चुनाव 2024 के मद्देनजर देश में सात चरणों में मतदान आयोजित कराए जाने हैं। पहले चरण में देश की 21 राज्यों की 110 सीटों पर लगभग 64% मतदान दर्ज कर गया। हालांकि अगर इसकी तुलना 2014 और 2019 के लोकसभा चुनाव से करें तो मतदान प्रतिशत में भारी गिरावट भी देखने को मिली है। पहले चरण में जो मतदान हुआ है, उसमें त्रिपुरा को छोड़कर बाकी किसी भी अन्य सीट में आंकड़ा 80 के पार नहीं जा पाया। अगर बात बिहार की करें तो वहां सबसे कम मतदान प्रतिशत 47.5 0% दर्ज किया गया। ऐसे में सवाल यह भी उठ रहे हैं कि आखिर क्या वजह है की वोटर मतदान केंद्र तक तक नहीं पहुंच पा रहे हैं?

2019 और 2014 की तुलना में मतदाताओं में उत्साह की कमी

अगर बाकी के बचे हुए चरणों में भी स्थिती ऐसी ही रही तो बीजेपी के लिए चिंता की बात हो सकती है। क्योंकि राष्ट्रीय राजनीति में मोदी काल में वोट प्रतिशत में लगातार बढ़ोतरी ही देखने को मिली है। 2014 और 2019 में मतदाताओं में खास उत्साह देखने को मिला है। इस चुनाव में बीजेपी ने दावा किया था कि बीजेपी 370 सिटें हासिल करेगी, लेकिन मत प्रतिसत अगर ऐसा ही रहा तो बीजेपी को सायद यह आकडा छुने में कठिनाई हो सकती है।

उत्तर भारत में कम वोटिंग का क्या हो सकता हैं परिणाम?

बीजेपी ने जब मिशन 370 का दावा किया, तो उनका यह मानना था की बीजेपी अपने मजबूत राज्य यूपी, बिहार, राजस्थान, मध्य प्रदेश में पहले से भी अधिक बेहतर स्थिती में है। वहीं जब उन्होनें 370 का दावा किया तो उन्हें इस बात की उम्मीद थी की 2014 और 2019 की तरह ही इस बार भी वो इन राज्यों में शानदार प्रदर्शन करेगी। हालांकि पहले चरण में मतदान प्रतिशत में गिरावट को देखते हुए बीजेपी नेतृत्व की परेशानी बढ़ती जा रही है।

क्या साउथ के चक्कर में बीजेपी नॉर्थ में भी खो देगी अपनी हुकुमत?

बीजेपी इस बार चुनाव में साउथ के राज्यों को लेकर बेहद एक्टिव नजर आयी है। पीएम मोदी ने दक्षिण के राज्यों में लगातार चुनावी सभाएं आयोजित की है। लेकिन अब ऐसा लग रहा है की दक्षिण को साथने के चक्कर में, बीजेपी उत्तर भारत में कमजोर पडती नजर आ रही है। ऐसे में यह सवाल लगातार उठ रहें है कि, क्या साउथ के चक्कर में बीजेपी नॉर्थ में भी अपनी हुकुमत खोती नजर आ रही है?

सरकार बदलने में मतदान प्रतिशत में गिरावट एक बड़ी वजह

ऐसा बार बार देखा गया है कि, जब भी कभी चुनाव में वोट प्रतिसत गिरा है, तब-तब सरकारें बदली है। बिते 12 चुनावों में से 5 में वोट प्रतिसत गिरा है, और उसमें भी 4 बार सरकारें बदली है। तो क्या इस बार भी ऐसा कुछ होगा, या बीजेपी वापस सत्ता में आएगी यह कहना मुस्किल होगा। और यह भी देखना होगा की क्या मतदान प्रतिशत में गिरावट का फायदा विपक्ष को मिलेगा।

Anushka Chaudhary

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