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व्यक्ति के बालों में छिपे कई राज..

मनुष्य के बारे में उसके हाव भाव के साथ साथ उसके शरीर की बनावट से भी पता लगाया जा सकता है। उसकी बोलचाल, भाषाशैली, आचार-व्यवहार से उसके बारे में बताया जा सकता है। बालों से भी व्यक्ति के कई राज खुलते हैं। आइए जानते हैं बालों से व्यक्ति के राज। क्या आप को मालूम हैं, मनुष्य का चेहरा, उसके शरीर की बनावट, आकार-प्रकार, उसकी बोलचाल, भाषाशैली, आचार-व्यवहार, देखकर यहां तक कि उसके बालों से भी उसकी प्रकृति, स्वभाव व मनोवृत्ति का आकलन किया जा सकता है। ज्योतिष शास्त्र के त्रिस्कन्ध, सिद्धान्त, संहिता, होरा में दो स्कन्ध और जोड़ने पर पंचस्कन्ध माने गए हैं। विद्वानों के मुताबिक बहुआयामी ज्योतिष शास्त्र के द्वारा मनुष्य के भविष्य, स्वभाव, प्रवृत्ति के बारे में सब कुछ जाना जा सकता है। प्राचीन ऋषि-महर्षियों ने ग्रह नक्षत्रों के प्रभाव के साथ-साथ व्यक्ति के हाथ की छाप, पैर की रेखाऐं सहित शरीर के सभी अंगों का शुभाशुभ फल संहिता ग्रंथों में अंकित किया है। कालान्तर में इस ज्ञान को सामुद्रिक शास्त्र के नाम से अलग से जाना जाने लगा, ज्योतिष शास्त्र के अन्तर्गत सामुद्रिक शब्द का अभिप्राय है, शरीर के लक्षण एवं विशेषताओं का ज्ञान करना। मनुष्य के विचार, भाव, ऑरा, आभा सहित पूरे शरीर के विश्लेषण से व्यक्ति के गुण-दोष, स्वभाव आदि का पता सरलतापूर्वक लगाया जा सकता है।

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ज्योतिष शास्त्र के मुताबिक ग्रह-नक्षत्रों का प्रभाव मन, मस्तिष्क से लेकर शरीर के सभी अंगों पर व्यापक रूप से पड़ता है। ज्योतिष के प्राचीन पांडुलिपियों में व्यक्ति के शरीर के विभिन्न हिस्सों में ग्रहों के असर का वर्णन किया गया है। नवग्रहों में सूर्य हड्डी का कारक है, चन्द्रमा मन का कारक है, मंगल रक्त तो बुध त्वचा का कारक है। गुरू शरीर में चर्बी का शुक्र सौन्दर्य और रज का, शनि रोग, बाल और बाहरी त्वचा का कारक है, राहु विचारों के आने का और केतु विचारों को व्यक्त करने के साधनों का कारक है। बालों को देखकर किसी व्यक्ति के गुण, स्वभाव और उसकी मनोवृत्ति को आसानी से जान सकते हैं, बालों के रूप में मस्तिष्क के विचार भी प्रकट होते हैं। स्वभाव का हर पहलू बालों की प्रकृति से पता चल जाता है।

स्ट्रेट बाल यानी सीधे बाल वाले मनुष्य स्पष्टवादी, सरल और खुले दिल के होते हैं।

प्राचीन ग्रंथों के मुताबिक घुंघराले बाल वाले व्यक्तियों में निर्णय लेने की क्षमता का अभाव होता है, घुंघराले बाल वाले धैर्यहीन, संकोची और अस्थिर होते हैं।
लहरदार बालों वाले लोग मनमौजी, अतिक्रोधी, कर्मठ, केवल अपने ही बारे में सोचने वाले और परिवर्तनशील होते हैं, ऐसे लोगों का मन हर क्षण बदलता रहता है।
रूखे बाल व्यक्ति के मस्तिष्क में अर्न्तद्वन्द का संकेत देते हैं, ऐसे लोग कम मिलनसार एवं अपने अनुसार ही अपनी जीवनचर्या तथा आस-पास के लोगों का चयन करते हैं।
नरम एवं पतले बाल वाले मन से शुद्ध, सरल, भावुक, अबोध व निर्मल दिल के होते हैं, ऐसे व्यक्तियों का

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स्वभाव बच्चों की तरह सरल होता है। ऐसे व्यक्ति उच्च कोटि के कलाकार, दार्शनिक या समाज सेवक हो सकते हैं। बालों को लम्बे एवं चमकदार बनाने के लिए आयुर्वेद में बहुत सारी जड़ी-बूटियों का वर्णन प्राप्त होता है, ये जड़ी- बूटियां ग्रह-नक्षत्रों से संबंधित हैं जिनका प्रयोग चिकित्सा ज्योतिष में किया जाता है। चिकित्सा ज्योतिष में हर अंग से जुड़ी बीमारी और उनके इलाज के मार्गदर्शन दिए गए हैं। बालों के साथ शरीर को तन्दरूस्त बनाने के लिए प्रत्येक व्यक्ति को अपनी स्वयं की जन्मकुण्डली में अपने लग्न के स्वामी लग्नेश की स्थिति जानकर उसे बलवान अवश्य करना चाहिए। सामुद्रिक शास्त्र व्यक्ति की प्रवृत्ति के बारे में एक संकेत देता है, जब तक ज्योतिष शास्त्र के अन्य मानक आदि से किसी भी एक तत्व की पुष्टि न कर ली जाए तब तक उसे अंतिम निर्णय अथवा फलादेश नहीं

Prachi Chaudhary

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