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Shiv Sena MLAs: शिवसेना के विधायकों की अयोग्यता पर Supreme Court में सुनवाई

राउत ने कहा, "भले ही सुनवाई (मामले में) स्थगित हो जाती है, एक तारीख होगी जब कानून का हथौड़ा इस अतिरिक्त संवैधानिक सरकार पर प्रहार करेगा।"राज्यसभा सदस्य ने कहा कि उनके समूह को एक फैसले की उम्मीद थी कि शिंदे के नेतृत्व वाली "अतिरिक्त-संवैधानिक" सरकार को एक दिन के लिए भी कार्यालय में रहने की अनुमति नहीं दी जाएगी और अभी भी वही उम्मीद है।

शिवसेना (Shiv Sena) के बागी विधायकों की अयोग्यता पर सुप्रीम कोर्ट (Supreme Court) में सुनवाई होनी है और उधर मुंबई में राजनीतिक हलचल तेज है। कोर्ट का फैसला क्या होगा इससे पहले ही शिवसेना राज्यसभा सांसद (Shiv Sena Rajya Sabha MP) संजय राउत ने जो कहा है उसके कई मायने निकाले जा रहे हैं। राज्यसभा सांसद संजय राउत ने सोमवार को कहा कि “कानून का हथौड़ा” महाराष्ट्र के मुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे (Chief Minister Eknath Shinde) के नेतृत्व वाली “अतिरिक्त-संवैधानिक सरकार” पर प्रहार करेगा। दिल्ली में पत्रकारों से बात करते हुए, राउत ने कहा कि शिवसेना का शिंदे के नेतृत्व वाला गुट दिल्ली की “महाशक्ति” में विश्वास करता है, केंद्र में भारतीय जनता पार्टी (Bharatiya Janata Party) की अगुवाई वाली सरकार का एक स्पष्ट संदर्भ है, जबकि उनके समूह का नेतृत्व पूर्व मुख्यमंत्री कर रहे हैं। उद्धव ठाकरे को न्यायपालिका और संविधान पर भरोसा है।शिवसेना (उद्धव बालासाहेब ठाकरे) नेता ने कहा, “तो यह महाशक्ति, और अदालतों और संविधान के बीच (एक प्रतियोगिता) है।”

राउत ने कहा, “भले ही सुनवाई (मामले में) स्थगित हो जाती है, एक तारीख होगी जब कानून का हथौड़ा इस अतिरिक्त संवैधानिक सरकार पर प्रहार करेगा।”राज्यसभा सदस्य ने कहा कि उनके समूह को एक फैसले की उम्मीद थी कि शिंदे के नेतृत्व वाली “अतिरिक्त-संवैधानिक” सरकार को एक दिन के लिए भी कार्यालय में रहने की अनुमति नहीं दी जाएगी और अभी भी वही उम्मीद है।

प्रतीकात्मक तस्वीर

बता दें कि शिंदे के नेतृत्व में शिवसेना विधायकों (Shiv Sena MLAs) के एक वर्ग ने पिछले साल जून में पार्टी नेतृत्व के खिलाफ विद्रोह कर दिया था, जिससे महा विकास अघाड़ी (एमवीए) सरकार गिरा दी गई थी। बाद में, शिवसेना (बालासाहेब) के प्रमुख शिंदे ने भाजपा के समर्थन से मुख्यमंत्री का पद संभाला।  हालांकि कई मसलों को लेकर शिंदे गुट और बीजेपी के नेताओं के बीच भी अनबन की खबरे आ रही है और एनसीपी प्रमुख शरद पवार (NCP chief Sharad Pawar) की बातों पर यकीन करें तो महाराष्ट्र की शिंदे सरकार ज्यादा दिनों तक नहीं चल पायेगी और जल्द ही चुनाव की सम्भावना बनेगी। ऐसे में दो दिन पहले ही पवार ने चुनाव की तैयारी का ऐलान भी अपने लोगों के बीच किया और यह भी कहा कि शिंदे और बीजेपी (BJP) को चुनौती देने के लिए महाघारी मिलकर चुनाव लड़े।सुप्रीम कोर्ट के फैसले पर सबकी निगाहें टिकी है। शिंदे से लेकर बीजेपी के लोग भी कोर्ट के फैसले का इन्तजार कर रहे हैं तो ठाकरे गुट की भी निगाहें टिकी हुई है। बता दें कि सुप्रीम कोर्ट आज 10 जनवरी को याचिकाओं के एक बैच पर सुनवाई करेगा, जिसमें शिंदे खेमे के 16 विधायकों को अयोग्य ठहराने की मांग भी शामिल है।

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Neetu Pandey

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