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भूकंप के झटके से कांपा राजस्थान, मणिपुर में भी डोली धरती

Earthquake: राजस्थान के जयपुर में 21 जुलाई यानि आज शुक्रवार को 4.4 तीव्रता का भूकंप (Earthquake) आया. जयपुर के कई इलाकों में भूकंप के झटके महसूस होते ही लोग घबराकर अपने घरों से बाहर निकलकर भागने लगे. नेशनल सेंटर ऑफ सीस्मोलॉजी (National Center for Seismology-NCS) की वेबसाइट के अनुसार भूकंप करीब सुबह 4 बजकर 10 मिनट पर आया. वहीं, दूसरी तरफ मणिपुर के उखरुल में भी शुक्रवार यानि आज सुबह 05 बजकर 01 मिनट पर 3.5 तीव्रता का भूकंप महसूस किया गया.

earthquake in jaipur news

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पुलिस नियंत्रण कक्ष ने बताया भूकंप की वजह से किसी जान माल या संपत्ति के नुकसान की कोई खबर सामने नहीं आई है. एक घंटे के अंदर 3 बार भूकंप के झटके महसूस किए गए. भूकंप (Earthquake) का पहला झटका 4 बजकर 10 मिनट पर, दूसरा 4 बजकर 23 मिनट पर और तीसरा झटका 4 बजकर 25 मिनट पर महसूस किया गया.

बता दें भूकंप (Earthquake) के झटके इतने भयानक थे कि जयपुर में घरों में सो रहें लोगों की नींद उड़ गई. भूकंप की तेज तीव्रता को देखते ही लोग घबरा गए. शहर की कॉलोनियों की इमारतों (building) में रहने वाले लोग बाहर निकल गए. भूकंप केंद्र बिंदु राजधानी जयपुर रहा. हालांकि भूकंप से किसी के नुकसान की खबर नहीं मिली है, लेकिन भूकंप के बाद अलग-अलग इलाकों से सामने आए सीसीटीवी फुटेज में कैद हुई तेज आवाज और कंपन बेहद डराने वाली थी.

भूकंप आने की क्या है वजह?

layers of earth

दरअसल पृथ्वी 4 परतों से बनी हुई है. इनर कोर (inner core), आउटर कोर, मेंटल और क्रस्ट. ऊपरी मेंटल कोर (upper mantle core) और क्रस्ट (crust) को लिथोस्फेयर (lithosphere) कहा जाता है और ये 50 km की मोटी परत कई भागों में बंटी हुई है जिन्हें टैकटोनिक प्लेट्स (tectonic plate) भी कहा जाता है. यानि पृथ्वी का ऊपरी भाग 7 टेक्टोनिक प्लेटों (tectonic plate) से मिलकर बनी है. ये प्लेटें कभी भी एक जगह स्थिर नहीं होती, ये लगातार हिलती रहती हैं, जब ये प्लेटें एक दूसरे की तरफ आती है तो ये आपस में टकरा जाती है. कई बार ये प्लेटें टकराव की वजह से टूट भी जाती हैं. इनके आपस में टकराने से बड़ी मात्रा में ऊर्जा (energy) निकलती है जिससे इलाके में कंपन होती है. भूकंप के झटके कई बार कम तीव्रता के देखे जाते है, इसलिए ये ना के बराबर महसूस होते है. लेकिन कई बार भूकंप (eathquake) के झटके इतने ज्यादा तीव्रता के होते हैं, कि धरती तक फट जाती है.

Prachi Chaudhary

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